चार धाम की महत्वाकांक्षी ‘‘रेलवे लाइन’’ की पहली सुरंग में सिरमौर के बेटे विकेश का डंका…

नाहन, 23 अगस्त : उत्तराखंड में निर्माणाधीन चार धाम की महत्वकांशी ‘रेल परियोजना’ की पहली सुरंग के ब्रेक थ्रू में 34 साल के इंजीनियर विकेश तोमर ने काबलियत का डंका बजाया है।

मंगलवार को 1965.50 मीटर लंबी एस्केप सुरंग (Escape Tunnel) के जब दोनों छोर मिले तो वहां मौजूद सैंकड़ों मजदूरों, कर्मचारियों व अधिकारियों की खुशी का ठिकाना न रहा। इसमें सिरमौर (Sirmour) के ट्रांसगिरि क्षेत्र के किल्लौड़ के रहने वाले विकेश तो खुशी से फूले नहीं समाए, क्योंकि बतौर कांन्ट्रैक्टर जिम्मेदारी निभा रहे थे।

बता दें कि ये परियोजना देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का ड्रीम प्रोजेक्ट (Prime Minister Narendra Modi’s Dream Project) भी है।
हिमाचल प्रदेश विश्वविद्यालय (HP University) से बीटेक (B.Tech )की पढ़ाई के बाद देहरादून से एमटेक (M.Tech) की शिक्षा हासिल की। पिता भूप सिंह तोमर उत्तराखंड (Uttarakhand) की कई महत्वपूर्ण परियोजनाओं में कांन्ट्रैक्टर की भूमिका निभा चुके थे, लिहाजा विकेश ने भी पिता की विरासत को संभालने का निर्णय लिया था।

   रेल मंत्रालय (Ministry of Railways) ने भी दोपहर बाद ऋषिकेश-कर्णप्रयाण रेल लाइन प्रोजैक्ट की पहली सुरंग के ब्रेक थ्रू पर टवीट् कर प्रसन्नता जाहिर की।

ये होगा फायदा…
दरअसल, एस्केप टनल के साथ ही मेन सुरंग का कार्य जारी है। लगभग 400 मीटर का कार्य बाकी है। एस्केप सुरंग के बनने से मेन टनल का निर्माण कार्य आसान होगा, क्योंकि एक छोर से दूसरे छोर पर सामान व मशीनरी इत्यादि ले जाने में एस्केप टनल का इस्तेमाल हो सकेगा।
इंजीनियरिंग विकेश तोमर की टीम का कैंप रुद्रप्रयाग में है।

ये बोले…
एमबीएम न्यूज नेटवर्क से बातचीत में विकेश ने बताया कि 2014 में सिविल इंजीनियरिंग के ट्रेड में एमटेक की पढ़ाई पूरी की थी। पिता भी सिविल कार्यों से जुड़े रहे। देश की  महत्वाकांक्षी  परियोजना में बतौर सिविल इंजीनियर कार्य करने का मौका मिला। उन्होंने कहा कि सुरंग के दोनों छोर को मिलाना बड़ी चुनौती होती है।

एक सवाल के जवाब में विकेश ने माना कि एस्केप टनल (Esape Tunnel) का निर्माण पूरा होने के बाद मुख्य सुरंग के निर्माण में भी तेजी आएगी। उन्होंने बताया कि मुख्य सुरंग के कार्य में भी जिम्मेदारी मिली हुई हैै। उन्होंने उम्मीद जाहिर की कि दिवाली से पहले मुख्य सुरंग के भी दोनों छोर मिल जाएंगे। उन्होंने कहा कि कार्य व्यस्तता की वजह से घर आने का समय  भी काफी कम मिलता है। इससे पहले वो राजनीतिक क्षेत्र में अहम जिम्मेदारियों को निभा रहे थे।

गौरतलब है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के ड्रीम प्रोजेक्ट में सिरमौर के करीब 50 लोग भी इंजीनियर विकेश की टीम का हिस्सा हैं।