पूरे प्रदेश में एक बार फिर से कोरोना संक्रमण के मामले बढ़ना शुरू हो गए हैं। ऐसे में स्वास्थ्य विभाग ने 10 व 11 अप्रैल को पूरे प्रदेश में मॉक ड्रिल करने का फैसला लिया है। जिला मंडी के स्वास्थ्य संस्थानों में भी सोमवार को मॉक ड्रिल का आयोजन किया गया। इस मॉक ड्रिल में अस्पताल के डॉक्टर, पैरामेडिकल स्टाफ और सिक्योरिटी गार्ड के जवानों ने भाग लिया।
मॉक ड्रिल के दौरान मरीज को एंबुलेंस में अस्पताल तक पहुंचाने के साथ उसका किस तरह से इलाज किया जाता है, इसकी रिहर्सल करवाई गई। वही गंभीर मरीजों को किस तरफ से ऑक्सीजन लगाने के बाद मैनेज करना है इससे भी मॉक ड्रिल की गई। इस दौरान ऑक्सीजन सिलेंडर की सुविधा, दवाइयों व पीपीई किट की खेप को भी जांचा गया, जिसकी रिपोर्ट प्रदेश सरकार को भेजी जाएगी।
इस मौके पर जोनल अस्पताल मंडी के एमएस डॉ. धर्म सिंह ने बताया कि कोरोना संक्रमण के बढ़ते हुए मामले को लेकर जिला स्वास्थ्य विभाग पूरी तरह से अलग है। उन्होंने बताया कि पूरे प्रदेश सहित मंडी में भी कोरोना-19 को लेकर मॉक ड्रिल का आयोजन किया गया। उन्होंने बताया कि जोनल अस्पताल मंडी में स्थापित पीएसए प्लांट से 100 बिस्तरों को जोड़ा गया है। अस्पताल में 100 बिस्तरों पर मरीजों को सीधे ऑक्सीजन की सुविधा दी जा रही है।
मॉक ड्रिल के दौरान एंबुलेंस के माध्यम से अस्पताल पहुंचाने से लेकर बिस्तर पर दवा अन्य सुविधाएं देने की रिहर्सल की गई। इस दौरान अस्पताल में ऑक्सीजन, सैनिटाइजर, थर्मल स्कैनर, पीपीई किट, मास्क व दवाओं की खेप भी जांची गई।
वहीं उन्होंने कहा कि अस्पताल में आने वाले मरीजों और तीमारदारों को लगातार मास्क लगाने के लिए भी हिदायत दी जा रही है। उन्होंने जिला वासियों से सर्दी खांसी व कोरोना महामारी जैसे लक्षण होने पर मास्क लगाने व टेस्ट कराने की भी अपील की है।