नई दिल्ली: दिल्ली उच्च न्यायालय 2जी स्पेक्ट्रम आवंटन घोटाला मामले में पूर्व दूरसंचार मंत्री ए राजा और अन्य को बरी किए जाने को चुनौती देने वाली केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) और प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) द्वारा दायर अपीलों पर 22 और 23 सितंबर को सुनवाई करेगा. सीबीआई ने इस मामले में बरी पूर्व टेलिकॉम मिनिस्टर ए राजा समेत अन्य लोगों के खिलाफ जल्द सुनवाई करने की मांग की. जांच एजेंसी ने याचिका में कहा कि केंद्र सरकार करदाताओं के पैसे को लेकर बेहद मुश्किल स्थिति में है.
‘कुछ व्यक्तियों/संस्थाओं ने भारत सरकार के खिलाफ क्लेम किया है या संभावित रूप से दावा किया है. करदाताओं के पैसे को लेकर सरकार मुश्किल स्थिति में है. इसलिए यह अपील है कि वर्तमान अवकाश याचिकाओं पर दिन-प्रतिदिन के आधार पर सुनवाई होनी चाहिए और जल्द से जल्द फैसला लिया जाना चाहिए.’
सीबीआई की याचिका में कहा गया है कि 2जी स्पेक्ट्रम मामले का बहुत सार्वजनिक महत्व है जिसमें पब्लिक लाइफ में ईमानदारी और सार्वजनिक अधिकारियों के बीच ईमानदारी के मुद्दों के साथ-साथ राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय छवि शामिल हैं इसलिए इन याचिकाओं का जल्द निपटारा करना न्याय के हित में है. स्वयं सर्वोच्च न्यायालय जांच और मुकदमे की निगरानी कर रहा था. इसलिए इन बातों को ध्यान में रखते हुए 29.09.2020 के आदेश के अनुसार अपील की अनुमति पर दिन-प्रतिदिन के आधार पर बहस फिर से शुरू की जाए.
सीबीआई की ओर से पेश अतिरिक्त सॉलिसिटर जनरल संजय जैन ने कहा कि अपील पर बहस के लिए एक कार्यक्रम तय किया जाना चाहिए. योगेश खन्ना की पीठ ने 2 अगस्त, 2022 को पारित एक आदेश में प्रस्तुतियाँ को उबाऊ कहने के बाद 22 और 23 सितंबर, 2022 को अपील को सुनवाई के लिए सूचीबद्ध किया.