25 बॉलीवुड थ्रिलर फिल्में, जिन्हें एक बार देखना तो बनता ही है

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यदि आपने अपने कई वीकेंड मनोरंजक और कॉमेडी फिल्में देखकर बिताए हैं, तो अब वक्त है, इसमें कुछ बदलाव करने का. हम बात कर रहे हैं कुछ डार्क मूवीज़ की. मतलब वो साइकोलॉजिकल थ्रिलर्स मूवीज, जिनको अकेले देखने से कुछ लोगों को डर लगता है.

मगर यकीन मानिए थ्रिलर फिल्में कई बार मूड बना देने वाली होती है. यहां हम बॉलीवुड की कुछ ऐसी ही थ्रिलर मूवीज की एक सूची आपके लिए लेकर आए हैं.

1. Te3n

अमिताभ बच्चन, नवाजुद्दीन और विद्या बालन जैसे कलाकारों के अद्भुत अभिनय ने आपको प्रभावित किया होगा. 2016 में ऋभु दासगुप्ता द्वारा निर्देशित यह हिंदी थ्रिलर उस 70 वर्षीय दादा की एक ऐसी कहानी है, जो अपनी पोती के अपहरणकर्ता और हत्यारे को हर हाल में ढूंढ़ना चाहता है.

2. काबिल

काबिल प्यार में पड़े एक ब्लाइंड कपल की एक दर्द भरी कहानी है. फिल्म में शुरु से अंत तक रोमांच और रहस्य बना रहता है. दृष्टि-बाधित लोगों की यह कहानी खासतौर से समाज में फैले अन्याय और उदासीनता से संघर्ष करती है. यह फिल्म बहुत से दिलों पर अपना जादू बिखेरने में सफल रही है.

3. गुप्त

यह एक सस्पेंस मूवी है, जिसकी कहानी मर्डर मिस्ट्री के चारों ओर बुनी गई है. इस लव ट्रायंगल फिल्म में अभिनेता के पिता की हत्या कर दी जाती है, जिसका आरोप खुद उसके पुत्र साहिल पर आता है. मगर फिल्म के अंत में जब असली दोषी का पता चलता है, तो सभी चकित रह जाते हैं.

4. खामोश

लीक से हटकर बनी इस फिल्म में नसीरुद्दीन शाह, शबाना आज़मी और अमोल पालेकर जैसे माहिर कलाकार हैं. एक बॉलीवुड फिल्म के सेट पर जब रहस्यमय ढंग से हत्याएं शुरू हो जाती हैं, तो कोई नहीं समझ पाता कि यह कौन कर रहा है. फिल्म के अंत तक रहस्य बना रहता है.

5. दीवानगी

स्प्लिट पर्सनालिटी डिसऑर्डर और एक हत्या का दोषी मुकदमे में अपना बचाव कैसे करता है, यही इस फिल्म की कहानी है. सनकीपन एक मनौवैज्ञानिक विकृति है, जिसकी पूरी झलक फिल्म में देखने को मिलती है. यह हॉलीवुड की ‘प्राइमल फियर’ से प्रेरित थी, जिसमें रिचर्ड गेरे ने अभिनय किया था.

6. डर

यह एक ऐसी हिंसक प्रेम कहानी है, जिसने शाहरुख खान का कैरियर बना दिया. यह एकदम नई और डरावनी कहानी थी! इस फिल्म में शाहरुख ने खलनायक के किरदार को नायक की तरह निभाया है. इस में यश चोपड़ा न केवल एक कपल के जुनूनी प्रेम को दर्शाया है, बल्कि अद्भुत गानों से इस साइकोलॉजिकल थ्रिलर फिल्म में जान डाल दी है. यह फिल्म हर कसौटी पर खरी उतरती है.

7. नो स्मोकिंग

रियल जैसी लगने वाली यह फिल्म एक अनूठी साइकोलॉजिकल थ्रिलर है, जो आपको फिल्म के साथ बांधकर रखती है. कहानी, एक चेन स्मोकर व्यक्ति के साथ शुरू होती है, जो अपनी शादी को बचाने के लिए अपनी नशे की लत को छोड़ने का मन बनाता है. वह नशा मुक्त केंद्र भी जाता है, लेकिन वहां वह उसी व्यक्ति की वजह से एक गम्भीर समस्या में फंस जाता है, जो उसे धूम्रपान छुड़वाने की गारंटी देता है.

8. आमिर

भारत-दौरे पर आए एनआरआई (NRI) डॉक्टर आमिर को पता चलता कि उसका परिवार कहीं लापता हो गया है. आतंकवादी उसे कहीं बम प्लांट करने के लिए कहते हैं.

अगर वह उनकी बात मानने से इंकार करता है तो आतंकवादी उसके परिवार की हत्या कर देंगे. क्या वह फोन पर बात कर रहे आंतकियों की बात मानता है? इस फिल्म में राजीव खंडेलवाल ने अपने शानदार अभिनय से सभी का दिल जीत लिया.

9. ए वेडनेस डे

इस फिल्म में एक रिटायर होने वाला पुलिस कमिश्नर अपने कैरियर के सबसे यादगार उस केस को याद करता है, जिसमें उसे मुंबई में बम धमाके की सूचना मिलती है. बुधवार की दोपहर 2 बजे से 6 बजे के बीच घटनाओं का क्रम जारी रहता है. ये धमाके सिर्फ़ उन लोगों के दिमाग में ही होते हैं, जो इस केस में इनवॉल्व्ड रहते हैं. इनका कहीं लिखित रिकार्ड भी नहीं मिलता है.

10. वो कौन थी

यह उन शुरुआती फिल्मों से एक थी, जिनसे बॉलीवुड में थ्रिलर फिल्मों की शुरुआत हुई. एक तूफानी रात में एक युवा डॉक्टर एक महिला को लिफ्ट देता है और फिर कुछ अजीबो-गरीब चीजें होने लगती हैं. बाद में यह रहस्यमय महिला उसकी मंगेतर निकलती है. यह राज खोसला की पहली प्रसिद्घ थ्रिलर ट्रायलॉजी है, जिसमें मनोज कुमार, साधना, प्रेम चोपड़ा और हेलेन ने काम किया है.

11. 100 डे

एक गुमशुदा शव, मैगज़ीन के कवर पेज पर एक घोड़े का चित्र, एक वीडियो कैसेट और कंकाल… यह सब कुछ देखकर आपके दिल की धड़कन अचानक बढ़ जाएगी और शरीर में एड्रेनालीन नामक रसायन का स्राव तेज हो सकता है. यह सब कुछ तब शुरु होता है, जब एक असामान्य शक्ति वाली महिला अपनी बहन की मौत के कातिल की परछाई देख लेती है और फिर शुरु होता है कातिल की तलाश का रहस्यमय घटनाक्रम.

12. ख़िलाड़ी

हम ऐसे ही अक्षय कुमार को खिलाड़ी कुमार नहीं कहते. उन्होंने अपनी खिलाड़ी सिरीज़ से यह साबित कर दिया है कि वह दूसरे अभिनेताओं से अलग क्यों है. उनकी खिलाड़ी की शुरुआत कॉलेज रोमांस से होती है और जल्द ही खतरनाक सस्पेंस में तब्दील हो जाती है. इस फिल्म को देखते समय आपको जो भी लगता है, वास्तविकता बाद में उसके बिल्कुल उलट निकलती है.

13. एक हसीना थी

इस फिल्म में एक पति-पत्नी के प्यार भरे रिश्ते में उस समय कड़वाहट आ जाती है, जब महिला को अंडरवर्ल्ड क्राइम के लिए जेल हो जाती है. महिला जेल से बाहर निकलते ही अपने दुश्मनों से बदला लेने निकल पड़ती है. फिल्म में उर्मिला और सैफ अली खान दोनों का काम लाजवाब है, लेकिन इसका क्लाइमेक्स थोड़ा दुखी करने वाला है.

14. संघर्ष

इस फल्म में महिला पुलिस अधिकारी को पता चलता है कि धार्मिक अंधविश्वास के चलते एक व्यक्ति मासूम बच्चों की बलि चढ़ाने में विश्वास रखता है. इस व्यक्ति को पकड़ने के लिए वह महिला अधिकारी एक मुजरिम की मदद लेती है. फिल्म का अंत बेहद रोचक है, जिसमें आलिया नामक बच्चे को विलेन की पकड़ से छुड़ाया जाता है.

15. अग्नि साक्षी

इस फिल्म के किरदार सूरज व शिवांगी खुशहाल दम्पत्ति हैं. उनका जीवन उस समय तक बेहद खुशहाली से बीतता है, जब तक कि उनकी लाइफ में एक ऐसे व्यक्ति का प्रवेश नहीं होता, जो दावा करता है कि शिवांगी उसकी पत्नी है. यह मूवी ‘स्लीपिंग विद एनेमी’ पर आधारित बताई जाती है. इस फिल्म के लिए नाना पाटेकर को नेशनल अवार्ड मिला था. फिल्म में उनका किरदार डराने वाला है.

16. तलाश

यह फिल्म एक मशहूर कलाकार की रहस्यमय कार दुर्घटना पर रोशनी डालती है. यह दुर्घटना तीन साल पहले हुई थी, जिसमें तीन दोस्त और एक कॉल गर्ल शामिल रहती है. अपने बेटे की मृत्यु से टूट चुका इंस्पेक्टर शेखावत अपनी शादी टूटने से बचाता है और इस मामले को भी परत दर परत सुलझाता है. फिल्म का महत्वपूर्ण किरदार रोजी है, जो इस केस में उसकी मदद करती है.

17. मेरा साया

राज खोसला की तिकड़ी की यह दूसरी फिल्म है. फिल्म गीता की मृत्यु के साथ शुरू होती है. अपनी पत्नी गीता का अंतिम संस्कार कर रहे वकील पति राकेश को पुलिस सूचित करती है कि सुनैना नाम की एक महिला को हिरासत में लिया गया है. लेकिन वह महिला दावा करती है कि वह सुनैना नहीं, बल्कि गीता है. खैर, वह गीता की तरह दिखती है!

अपनी पहचान को सिद्ध करने के लिए, वह महिला ऐसी घटनाओं का वर्णन करती है, जो केवल उसकी पत्नी को ही पता होती है! क्या वह गीता है या सिर्फ एक धोखेबाज जो राकेश की दौलत हासिल करने की कोशिश में लगी है?

18. कहानी

यह अद्भुत थ्रिलर फिल्म है, जो एक ऐसी गर्भवती महिला के इर्द-गिर्द घूमती है. यह महिला कोलकाता में एक पुलिस अधिकारी की मदद से अपने लापता पति को ढूंढ़ने निकलती है,  लेकिन जिस किसी से भी वह अपने पति के बारे में पूछती है, उसका कहना होता है मैंने कभी भी तुम्हारे पति को नहीं देखा. जैसे-जैसे वह इस जिंदादिल शहर में प्रवेश करती है, इस शहर से जुड़े अपराध और रहस्यों का पता चलना शुरू होता है. ‘कहानी’ फिल्म अभी तक की सर्वश्रेष्ठ क्लाइमेक्स है फिल्म बताई जाती है.

19. एक रूका हुआ फ़ैसला

यह फिल्म अमेरिकन मोशन पिक्चर 12 एंग्री मेन की रीमेक है. इसमें एक जूरी के बारह पुरुष सदस्यों को दिखाया जाता है, जो एक ऐसे युवक की सजा पर विचार करने के लिए इकट्ठा होते हैं, जिस पर अपने बुजुर्ग पिता की हत्या का आरोप है.

एक सदस्य को छोड़कर ज्यूरी के सभी सदस्य इस युवक के दोष के बारे में आश्वस्त होते हैं और वे अपने सहकर्मियों को सर्वसम्मति से उनके निर्णय को स्वीकार करने को कहते हैं.

20. अग्ली

फिल्म में एक्शन तब शुरू होता है, जब एक 10 वर्षीय लड़की का अपहरण होता है. वह लड़की पेशे से अभिनेता अपने पिता के साथ घूम रही होती है, तभी उसे किडनैप कर लिया जाता है. उसके माता-पिता तलाकशुदा होते हैं. उसका सौतेला पिता, जो एक पुलिसवाला है, जांच पड़ताल शुरु करता है.

21. गुमनाम

इस फिल्म में आठ लोग एक प्रतियोगिता में विजयी होते हैं और चार्टेड प्लेन से एक आइलैंड पर जाते हैं. लेकिन वहां उन्हें अकेला छोड़ दिया जाता है. वहां उन्हें एक डरावने बंगले में एक अजीब से रसोईये के साथ रहना पड़ता है. लेकिन जैसे ही वे वहां सेटल होते हैं, उनमें से एक के बाद एक की मौत होने लगती है. यह बॉलीवुड की कल्ट थ्रिलर में से एक है, जिसको लोग आज भी देखना पसंद करते हैं.

22. 404

इस फिल्म के किरदार प्रोफेसर अनिरुद्ध का मानना ​​है कि जिन चीजों का वैज्ञानिक स्पष्टीकरण नहीं है, उनका कोई अस्तित्व नहीं है. उनके मेडिकल इंस्टीच्यूट के एक कमरे में असामान्य घटनाएं होने लगती हैं. अफवाह है कि उस कमरे में आत्महत्या करने वाले एक छात्र की आत्मा वहां भटकती रहती है. अनिरुद्ध इस पर विश्वास नहीं करता. भौतिक घटनाओं के बारे में तर्कसंगत सबूत देने के बावजूद, फिल्म दर्शकों को एक अलौकिक व्याख्या देती हुई समाप्त होती है.

23. भूल भुलैया

हवेली में भूतों के होने की चेतावनी के बावजूद एक एनआरआई और उसकी पत्नी अपने पैतृक घर में रहने के लिए आते हैं. जल्द ही इस घर में रहस्यमय घटनाएं होने लगती है. इन घटनाओं को सुलझाने के लिए मनोचिकित्सक को बुलाया जाता है. अंत में इस बात का खुलासा होता है कि उसकी पत्नी डिसोसिएटिव आइडेंटिटी डिसऑर्डर की शिकार है, हम इस फिल्म में विद्या बालान की मंजुलिका की भूमिका और उसके अद्भुत डांस को कभी नहीं भूल पाएंगे!

24. गजनी

यह मनोवैज्ञानिक थ्रिलर समीक्षकों द्वारा प्रशंसित हॉलीवुड फिल्म मेमेंटो से प्रेरित थी. आमिर खान, शार्ट टर्म मेमोरी लॉस (थोड़े समय के लिए सब कुछ भूल जाना) से पीड़ित है. इसके बावजूद वह अपनी प्रेमिका के हत्यारों को खोजने और उनसे बदला लेने के बड़े ही कठिन मिशन पर निकल पड़ता है.आमिर का गुस्सा उसके रास्ते में आने वाले हर किसी के लिए बिल्ली-और-चूहे के खेल की तरह खतरनाक हो जाता था.

25. दृश्यम

यह स्कूल ड्रॉप-आउट एक बुद्धिमान व्यक्ति की कहानी है, जो न्याय और ईमानदारी में विश्वास करता है. उससे परिवार से अनजाने में एक अपराध हो जाता है. जब इस बुरी घटना से उसका परिवार बर्बाद होने के कगार पर पहुंच जाता है, तो वह अपने परिवार को अंधे कानून से बचाने का उपाय करता है.

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