Arshdeep Singh: पिता भेज रहे थे कनाडा, उसने भारत को चुना, कड़ी मेहनत के बाद ब्लू जर्सी पहनने वाले अर्शदीप सिंह की कहानी

Indiatimes

Asia Cup के सुपर चार मुकाबले में रविवार को पाकिस्तान ने भारत को पांच विकेट से हरा दिया. भारत की इस हार के बाद लोग सोशल मीडिया पर काफी भड़के हुए नजर आए. खासतौर पर भारत के युवा तेज गेंदबाज अर्शदीप सिंह (Arshdeep Singh) को इस हार का जिम्मेदार ठहराते हुए उन्हें बुरी तरह ट्रोल किया जा रहा है.
दरअसल, मैच की दूसरी पारी में जब पाकिस्तान बल्लेबाजी कर रही थी. तब 18वें ओवर में रवि बिश्नोई की गेंद पर पाकिस्तान के बल्लेबाज आसिफ़ अली का एक आसान सा कैच अर्शदीप से छूट गया. मैच के बाद ट्रोलर्स की निगाह में अर्शदीप आ गए. उन्हें खूब खरी-खोटी सुनाने लगे. कुछ ‘खालिस्तानी’ कहने लगे. कुछ लोगों ने अर्शदीप के विकीपीडिया पेज के साथ भी छेड़-छाड़ की.   Arshdeep SinghDNAक्या आप जानते हैं जिस अर्शदीप को उसकी एक गलती की वजह से ट्रोल किया जा रहा है. उनके पास कनाडा जाने का ऑप्शन था, लेकिन उन्होंने पिता की बात नहीं सुनी और भारत को चुना. काफी मेहनत और संघर्ष के बाद आज वो इस मुकाम पर पहुंचे हैं. Arshdeep SinghPKरोजाना साइकिल से ट्रेनिंग करने जाते थेभारतीय युवा तेज गेंदबाज अर्शदीप का जन्म 5 फरवरी 1999 को मध्य प्रदेश के गुना में हुआ. इनके पिता दर्शन सिंह भी घरेलू क्रिकेट खेल चुके हैं. फिलहाल किसानी करते हैं. इनका परिवार पंजाब के खरड़ में रहता है. अर्शदीप 13 साल की उम्र से ही स्कूल की तरफ से क्रिकेट खेलना शुरू कर दिया था. फिर उन्हें कोच के रूप में जसवंत राय का साथ मिला. कोच अर्शदीप की गेंदबाजी से काफी प्रभावित हुए. उनसे क्रिकेट की हर बारीकियों को सीखा. वे प्रतिदिन साइकिल से चंडीगढ़ क्रिकेट प्रशिक्षण के लिए पहुँचते थे. कोच की मेहनत और खुद की लगन से अर्शदीप एक तेज गेंदबाज के रूप में उभर कर सामने आए. उन्होंने वीनू माकड़ ट्राफी में 13 विकेट लिए. इसके बाद उन्हें पंजाब अंतर जिला एकदिवसीय चैम्पियनशिप में खेलने का मौका मिला. इस डीपी आज़ाद ट्राफी में चंडीगढ़ की तरफ से खेलते हुए अर्शदीप ने शानदार गेंदबाजी करते हुए 5 मैचों में 19 विकेट चटकाए. Arshdeep SinghLivemintकनाडा छोड़ भारत को चुना, पिता से मांगा एक साल का समय साल 2017 अर्शदीप लगातर बेहतर प्रदर्शन कर रहे थे. लेकिन उन्हें वो मौक़ा नहीं मिल पा रहा था. जिनकी उन्हें तलाश थी. वो निराश हो चुके थे. लेकिन हिम्मत नहीं हारी थी. उनके पिता ने भी बेटे के भविष्य को देखते हुए उन्हें कनाडा शिफ्ट होकर नौकरी करने की सलाह दी. जहां उनके बड़े भाई पहले से मौजूद थे. लेकिन अर्शदीप को देश के लिए क्रिकेट खेलना था. उन्होंने पिता से एक साल का और समय मांगा. काफी मनाने पर पिता भी राजी हो गए. किस्मत ने भी अर्शदीप का साथ दिया. उन्हें पंजाब की अंडर-19 टीम में चुन लिया गया. इसके बाद अर्शदीप ने पीछे मुड़कर नहीं देखा. लगातार बेहतर से और बेहतर करने के लिए मेहनत करते रहे.  Arshdeep SinghSSआगे इनके शानदार प्रदर्शन को देखते हुए अंडर-19 विश्वकप में लिए भारतीय टीम में सिलेक्ट हुए. भारत के पूर्व कप्तान राहुल द्रविड़ की कोचिंग और पृथ्वी शा की कप्तानी में भारत ने विश्व कप जीता था. इस विश्व कप में अर्शदीप को सिर्फ 2 मैच में खेलने का मौका मिला था. जिसमें उन्होंने किफायती गेंदबाजी करते हुए 2 विकेट हासिल किए थे. अर्शदीप ने टूर्नामेंट में 7 ओवर में 1.43 की इकॉनमी से 10 रन दिए थे. जब आईपीएल के लिए कबाड़ी की दुकान से मंगवाया टायर इसके बाद ऑल इंडिया पंजाब स्टेट कर्नल सीके नायडू क्रिकेट ट्रॉफी में इस युवा गेंदबाज ने धमाकेदार प्रदर्शन किया. इस ट्रॉफी के 10 मैचों में अर्शदीप ने 46 विकेट अपने नाम किए थे. अर्शदीप सिंह अपनी घातक गेंदबाजी से क्रिकेट दिग्गजों को काफी प्रभावित कर रहे थे. जिस दिन आईपीएल ऑक्सन था उसी दिन इस गेंदबाज ने पंजाब की तरफ से खेलते हुए अंडर -23 में राजस्थान के खिलाफ एक दिन में हैट्रिक ली और 8 विकेट लेकर धूम मचा दी.Arshdeep SinghCCआईपीएल फ्रेंचाईजियों की भी नज़र इन पर पड़ गई. अर्शदीप को नीलामी के दौरान किंग्स इलेवन पंजाब ने उनके बेस प्राइस 20 लाख रूपए में खरीद लिया. आईपीएल शुरू होने से पहले वे चोटिल हो गए. वे तेजी से अपनी चोट की तरफ उभर रहे थे. उनके कोच जसवंत राय ने उनकी ट्रेनिंग शुरू की. लेकिन अर्शदीप के रनअप में कमी आ गई थी. ऐसे में आईपीएल तक फिट होने के लिए बड़ी मुश्किल की घड़ी थी. उनके कोच बताते हैं कि अर्शदीप ने मुझसे एक कार का टायर माँगा. इसके 15 दिन बाद उसने मुझसे ट्रक के टायर का इंतजाम करने को कहा. मैंने एक कबाड़ी की दुकान से ट्रक का टायर लाकर उसे दे दिया. कुछ ही दिनों में उसकी रनिंग नए टायर के समान हो गई. PBKS Arshdeep Singh Punjab Kingsiplआईपीएल 2019 के लिए अर्शदीप बिलकुल फिट हो चुके थे. इस सीजन उन्हें ज्यादा मौके नहीं मिले. अर्शदीप को महज 3 मैचों में खेलने का मौका मिला था. जिसमें उन्होंने 3 विकेट हासिल किए थे. इसके बाद आईपीएल 2020 में उनके कप्तान लोकेश राहुल ने उन पर भरोसा जताया. उन्हें 8 मैचों में खेलने का मौका मिला. इस सीजन उन्होंने अपनी छाप छोड़ते हुए 9 विकेट हासिल किए. इसके अलावा जरूरत पड़ने पर टीम को सही समय पर विकेट दिलाकर जीत भी दिलाई. इसके बाद अर्शदीप को पंजाब की गेंदबाजी का संकटमोचक कहा जाने लगा. ऐसा इसलिए भी क्योंकि इस युवा गेंदबाज ने पंजाब के लिए या तो नई गेंद से या फिर डेथ ओवर में गेंदबाजी की. जो अनुभवहीन गेंदबाज के लिए काफी मुश्किल होता है.Arshdeep SinghTwitterफिर मिला टीम इंडिया का टिकट अर्शदीप लगातर आईपीएल में अच्छा प्रदर्शन कर रहे थे. उन्होंने आईपीएल 2021 में 12 मैचों में 18 विकेट लिए थे. आईपीएल 2022 में 14 मैचों में सिर्फ 10 विकेट हासिल किए थे. लेकिन उन्होंने 7.70 की इकोनॉमी से रन दिए थे. साथ ही समय समय पर विकेट भी लिया था. अर्शदीप ने आईपीएल के 37 मैच खेलकर 40 विकेट अपने नाम कर चुके हैं.अब बीसीसीआई की भी नजर अर्शदीप पर थी. उन्हें टी-20 सीरिज के लिए इंग्लैंड दौरे पर भारतीय क्रिकेट टीम में चुना गया. 7 जुलाई 2022 को अपने डेब्यू मैच में अर्शदीप ने खुद को साबित कर दिया कि उनके अंदर बहुत काबलियत है. अर्शदीप ने अपना पहला ओवर मेडन डाला और ऐसा करते हुए वो तीसरे गेंदबाज बन गए थे. उन्होंने उस मैच में 3.3 ओवर में सिर्फ 18 रन देकर 2 विकेट लिए थे.Arshdeep SinghESPNआज अर्शदीप एक शानदार गेंदबाज हैं. वो यॉर्कर गेंद करने में माहिर हैं. अर्शदीप ने भारत के लिए 9 टी-20 मैच खेल चुके हैं. जिसमें 7.26 की इकोनॉमी से रन देते हुए 13 विकेट हासिल कर चुके हैं लेकिन, आज वो जिस मुकाम पर पहुंचे हैं वो उनकी कड़ी मेहनत और संघर्ष की वजह से मुमकिन हो पाया. उनकी जिद ने उन्हें कनाडा जाने से रोका और आज वो देश के लिए खेलते हुए युवाओं के लिए प्रेरणास्रोत बन चुके हैं.