ललितेश कुशवाहा/भरतपुर. आपने शमशान घाट (shamshan ghat ) बहुत देखे होंगे, लेकिन राजस्थान के भरतपुर (Bharatpur) में अनोखा शमशान घाट है. यहां एक तरफ लोग टहलते हैं तो दूसरी ओर चिताये जलती हुई दिखाई देती हैं. ग्रामीणों ने आपसी सहयोग से चंदा इकट्ठा कर एक पार्क (Park) का निर्माण करवाया. इस पार्क में लोग बेझिझक सुबह शाम टहलते है साथ ही शमशान घाट में एक साल पहले शिव मंदिर (Shiv temple) की स्थापना कराई गई, जहां पूजा अर्चना करने के लिए एक पुजारी रखा हुआ है, जो शमशान घाट में स्थित कुटिया में निवास करता है.
इस पार्क में दानदाताओं द्वारा कुर्सियां भी भेंट की गई है जहां लोग अपनी थकान को मिटाते एवं व्यायाम करते हुए नजर आते हैं. समाज सेवी नीरज चौधरी (Neeraj Choudhary) ने बताया कि हमारे गांव में टहलने के लिए स्थान नहीं था. ग्रामीणों के सहयोग से शमशान घाट में एक पार्क का निर्माण करवाया गया. इसके विकास के लिए 31 लोगों की एक कमेटी बनाई गई है जिसमें सभी जाति वर्ग के लोग शामिल है. कमेटी के सदस्य पार्क के विकास के लिए प्रत्येक महीना अपनी स्वेच्छा से राशि देते हैं
इस तरह करते हैं रखरखाव
एकत्रित राशि को पार्क के रखरखाव पर खर्च किया जाता है साथ ही इसकी देखभाल के लिए एक माली भी रखा हुआ है, जो पार्क की साफ सफाई और पेड़ पौधों में पानी देने के साथ साथ आदि कार्य करता है. सुबह शाम लोग इस पार्क में अपने परिजनों के साथ टहलने आते हैं. शमशान घाट में एक तरफ चिताये जलती है तो दूसरी ओर लोग टहलते हैं. दानदाताओं के द्वारा पार्क में लगाई गई कुर्सियों पर लोग बैठ कर अपनी थकान मिठाते हैं. इस पार्क में लाइट की अव्यवस्था के कारण लोगो को अंधेरे में परेशानी होती है. साथ ही झूले भी नहीं है. लोगो ने प्रशासन से पार्क में जो भी खामियां हैं, उन्हे दूर करने की मांग की है.
कुटिया में निवास करते है पुजारी
पुजारी हरिओम (Hariom)ने बताया कि श्मशान घाट में एक साल पहले लोगो ने आपसी सहयोग से एक शिव मंदिर का निर्माण करवाया गया. उसी समय में इस मंदिर की पूजा अर्चना का कार्य मुझे सौंपा गया साथ ही रहने के लिए शमशान घाट में एक कुटिया का निर्माण करवाया. मैं एक साल से लगातार देख रहा हूं. लोग अपने परिजनों के साथ सुबह शाम बिना किसी भय के टहलने के लिए आते हैं.
प्रशासन से सहयोग की मांग
पुजारी ने बताया कि पार्क में लाइट की अव्यवस्था होने के कारण लोग अंधेरे में टहलते हैं. उनको काफी परेशानी होती है. प्रशासन से मांग करते हुए कहा कि इस पार्क में लाइट की व्यवस्था करवाई जाए, जिसके के चलते लोगो को इस परेशानी से निजात मिल सके. समाज सेवी नीरज ने बताया कि इस पार्क में बच्चे अपने परिजनों के साथ टहलने के लिए तो आते हैं, लेकिन फिसल पट्टी व झूला नहीं होने के कारण उनका मन उदास हो जाता है. प्रशासन से यह भी मांग है कि इस पार्क में जो खामियां हैं, उनको पूरा किया जाए तो यंहा टहलने बालो की संख्या भी बढ़ेगी, जिससे पार्क और सुंदर दिखने लगेगा.