China Gulf Nations Baloch Activists Pakistan: चीन बलूच विद्रोहियों के हमले से बुरी तरह से घबरा गया है और उइगर मुस्लिमों के खिलाफ चली जा रही अपनी क्रूर रणनीति को बलूचिस्तान के विद्रोहियों के खिलाफ अपना रहा है। चीन यूएई समेत खाड़ी देशों पर दबाव डाल रहा है कि वे बलूच कार्यकर्ताओं को पाकिस्तान को सौंप दें।
चीन इस तरह की नापाक हरकत उइगर मुस्लिमों के साथ भी पूरी दुनिया में कर रहा है। चीन दुनियाभर के देशों पर दबाव डालता रहता है कि वे अपने यहां रह रहे उइगर विद्रोहियों को उसे सौंप दें। ह्यूमन राइट्स काउंसिल ऑफ बलूचिस्तान के अब्दुल्ला अब्बास के मुताबिक साल 2018 में चीन के कराची स्थित काउंसलेट पर हमले के बाद संयुक्त अरब अमीरात ने बलूच कार्यकर्ता राशिद हुसैन को पाकिस्तान को सौंप दिया था। यही नहीं पाकिस्तान भेजने से पहले राशिद को सबसे अलग थलग करके संपर्क रहित कर दिया था।
चीन खाड़ी के देशों पर डाल रहा दबाव
अब्बास ने बताया कि यह चीन का दबाव हो सकता है जिसकी वजह से यूएई ने यह कदम उठाया। यही नहीं अब्दुल्ला ने बताया कि यूएई की खुफिया एजेंसी ने हुसैन के एक अन्य रिश्तेदार को भी अरेस्ट कर लिया और उन्हें भी जबरन पाकिस्तान भेज दिया गया। अब्बास ने कहा, ‘हमारे पास पर्याप्त साक्ष्य हैं कि चीन लगातार खाड़ी के देशों पर दबाव डाल रहा है। इसमें यूएई भी शामिल है। चीन उन बलूच कार्यकर्ताओं को पाकिस्तान को सौंपने के लिए कह रहा है जो चीनी निवेश का विरोध कर रहे हैं।’
चीन पाकिस्तान के साथ रिश्तों और वहां सीपीईसी के नाम पर किए जा रहे निवेश को लेकर लगातार विवादों में चल रहा है। बलूच विद्रोहियों का कहना है कि चीन प्राकृतिक संसाधनों से भरे बलूचिस्तान और सिंध प्रांत में शोषण कर रहा है। बलूचों के हमलों से चीन टेंशन में आ गया है और पिछले दिनों उसने अपनी चीनी ‘सेना’ को तैनात करने के लिए पाकिस्तान पर दबाव डाला था। पाकिस्तान ने चीनी नागरिकों की सुरक्षा को बढ़ाया है लेकिन अब बलूच सॉफ्ट टारगेट को निशाना बनाने लगे हैं। पिछले दिनों ने बलूचों ने एक चीनी डॉक्टर की हत्या कर दी थी।