पीलीभीत के अमरिया के गांव माधोपुर में दस साल की अनम की उसके अपनों ने ही हत्या की थी। पड़ोसी को हत्या के मामले में फंसाने के लिए उसके दादा ने हत्या की साजिश रची। पिता ने सिर में ईंट मारी और चाचा ने उसका पेट फाड़ा था। इस मामले में अनम के दो अन्य चाचा भी शामिल थे। पुलिस ने पांचों को कोर्ट में पेश किया, जहां से उन्हें जेल भेज दिया गया। बता दें कि पड़ोसी ने अनम के दो चाचाओं पर दो साल पहले दुष्कर्म का मुकदमा दर्ज कराया था। इसलिए पड़ोसी को फंसाने के लिए अनम के दादा शहजादे ने ही अपनी पोती की हत्या करने का षड्यंत्र रचा। योजना के तहत अनम का चाचा शादाब मेला दिखाने के बहाने उसे सरैंदा पट्टी लेकर गया। वहां शाम को उसे नींद की गोलियां खिलाकर बेहोश करने के बाद मेला स्थल से 100 मीटर दूर गन्ने के खेत में पताई से छिपा दिया गया।
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बाद में योजना के तहत मेले और मस्जिदों के लाउडस्पीकर से अनम के गुम होने का एलान कराया गया। इसके बाद रात में सभी लोग उस स्थान पर पहुंचे जहां बच्ची को छिपाया गया था। यहां अनम के पिता अनीस ने अनम के सिर पर ईंट मारी और चाचा शादाब ने चाकू से उसका पेट फाड़ डाला था।
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इसके बाद मरा समझकर दोनों वहां से चले गए। अगले दिन सुबह चार बजे उसे गन्ने के खेत से उठाकर कुछ दूरी पर गेहूं के खेत में डाल दिया। फिर उसके खोजने का ढोंग रचते हुए चाचा घटनास्थल पर पहुंच गया। वहां अनम की सांसें चलते देख वह पोल खुल जाने के डर से घबरा गया। ऐसे में उसे इलाज के लिए ले जाने के बजाय वहीं मोबाइल से वीडियो बनाता रहा।
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उसकी देखादेखी कई अन्य ग्रामीण भी ऐसा ही करने लगे। बाद में इलाज न मिलने पर कुछ ही देर में अनम की मौत हो गई। योजना के तहत पड़ोसी पर हत्या की रिपोर्ट दर्ज करा दी गई।
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इन लोगों का मानना था कि ऐसा करने से पड़ोसी की ओर से दो चाचाओं पर दर्ज कराया गया दुष्कर्म का मामला हल्का पड़ जाएगा और वे बच जाएंगे, पर ऐसा नहीं हुआ और पूरे मामले का पटाक्षेप हो गया।
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यहां बता दें कि पुलिस को परिवार वालों पर शुरू से ही शक था, इसी वजह से शनिवार देर शाम अनम के शव को सुपुर्द-ए-खाक होने के बाद पुलिस ने चार लोगों को हिरासत में लेने के बाद खून से सनी एक पैंट भी बरामद कर ली थी। बाद में कड़ाई से पूछताछ के बाद पूरे मामले से पर्दा हट गया। सोमवार को पुलिस ने दादा शहजादे, पिता अनीस, चाचा शादाब, नसीम, सलीम को जेल भेज दिया।
तहरीर देने के बाद भी नहीं हुई, कार्रवाई तो हत्या का रचा षड्यंत्र
पड़ोसी ने दो साल पहले अनम के दो चाचाओं के खिलाफ कोर्ट के आदेश से दुष्कर्म की रिपोर्ट दर्ज कराई थी। इसके चार माह बाद अनम के पिता ने उसी पड़ोसी के खिलाफ पुलिस को तहरीर दी, मगर उस पर कार्रवाई नहीं हुई। ऐसे में अनम के दादा ने अपने पुत्रों को दुष्कर्म के मामले से निकालने के लिए यह षड्यंत्र रचा, मगर वह खुद चार पुत्रों के साथ पोती की हत्या में फंस गया।
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अनम के परिवार वाले समझ रहे थे रिश्तेदार, मगर था पड़ोसी
अनम के चाचा ने जिस युवती से दो साल पहले प्रेम विवाह किया था। वह युवती अपने परिवार के साथ तीन साल पहले गांव पिंजरा से माधोपुर आकर बसी थी।
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पड़ोसी भी पिंजरा से आकर यहां बसा था। युवती के पिता ने बताया कि अनम के परिवार का जिससे विवाद चल रहा था, वह उसके परिवार से नहीं है, वह पिंजरा में सिर्फ पड़ोसी था। यहां आकर भी पड़ोसी ही है। उससे उनका कोई रिश्ता नहीं है।
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पड़ोसी को फंसाने के लिए चाचा और पिता ने अन्य परिवार वालों की मदद से बालिका की हत्या की। अलग-अलग पूछताछ में घटना का खुलासा हुआ है। सभी छह आरोपियों को जेल भेज दिया गया है।