Delhi Air Pollution: उफ्फ नहीं ले पा रहे सांस…! दिल्‍ली की हवा में घुला जहर, दिवाली तक हालात और होंगे खराब, रहिए तैयार

Delhi Pollution Level Today: दिवाली से पहले दिल्ली-एनसीआर में प्रदूषण का कहरा बढ़ता जा रहा है। लोग आंखों में जलन और गले में खराश की शिकायतें कर रहे हैं। कई इलाके स्मॉग की आगोश में है। जानकारी के अनुसार, दिवाली तक दिल्ली-एनसीआर में जहरीली हवा का कहर अपने चरम पर पहुंच जाएगा। पर्यावरण के बिगड़ते मिजाज को देखते हुए दिल्ली-एनसीआर के लोग कुछ दिनों के लिए उत्तराखंड, हिमाचल प्रदेश जैसे पहाड़ी क्षेत्रों का रुख करने की योजना बना रहे हैं।

नई दिल्ली: देश की राजधानी दिल्ली समेत एनसीआर के इलाकों की आबोहवा जहरीली होती जा रही है। केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (CPCB) की वेबसाइट SAFAR के अनुसार, शनिवार को दिल्ली की वायु गुणवत्ता खराब श्रेणी में पहुंच गई है, एक्यूआई (Air Quality Index) 266 पर पहुंच गया है। उधर दिवाली पर पराली का धुआं भी राजधानी की हवा बिगाड़ेगा। पूर्वानुमान करने वाली विभिन्न एजेंसियों के मुताबिक दिवाली के दिन और उसके बाद पराली प्रदूषण 10 से 18 प्रतिशत तक बढ़ सकता है। 23 से 25 अक्टूबर तक यह बेहद खराब स्थिति में रहेगा। इसके बाद अगले 6 दिनों तक यह खराब से बेहद खराब रह सकता है।
आईआईटीएम पुणे के पुर्वानुमान के अनुसार 23 से 25 अक्टूबर तक प्रदूषण का स्तर बेहद खराब रह सकता है। इसके बाद अगले 6 दिनों तक यह खराब से बेहद खराब रहेगा। 23 अक्टूबर को हवाएं उत्तर दिशा से आएंगी। इनकी गति 10 किलोमीटर प्रति घंटे के आसपास रहेगी। वहीं सफर के अनुसार 23, 24 और 25 अक्टूबर को हवाएं कमजोर रहेंगी। 24 अक्टूबर को प्रदूषण का स्तर बेहद खराब हो सकता है। इसके बाद 25 अक्टूबर को प्रदूषण बेहद खराब से गंभीर रह सकता है।

आतिशबाजी भी प्रदूषण को गंभीर स्तर पर पहुंचा देगी
पिछले साल के मुकाबले यदि इस दिवाली पर 25 प्रतिशत आतिशबाजी भी हुई तो प्रदूषण का स्तर 24 अक्टूबर की रात से लेकर 25 अक्टूबर को भी गंभीर स्तर पर बना रहेगा। वहीं यदि आतिशबाजी नहीं होती है तो प्रदूषण 25 अक्टूबर की सुबह कुछ घंटों के लिए यह गंभीर स्तर पर रहेगा, बाद में यह कम हो जाएगा। दिवाली से पहले यह आकलन सफर (सिस्टम ऑफ एयर क्वालिटी एंड वेदर फोरकॉस्टिंग एंड रिसर्च) ने जारी किया है।
आकलन के अनुसार 24 अक्टूबर की सुबह तक हवा खराब से बेहद खराब स्तर पर बनी रहेगी। उत्तर भारत में इस समय पराली जलाने के मामले कम हैं। हवाएं भी काफी हद तक साथ दे रही हैं लेकिन 24 अक्टूबर से हवाओं की दिशा में बदलाव हो रहे हैं। हवाएं पराली के हॉट स्पॉट की तरफ से आने लगेंगी। ऐसे में अनुमान है कि 23 अक्टूबर को पराली प्रदूषण 5 प्रतिशत, 24 अक्टूबर को 8 प्रतिशत और 25 अक्टूबर को बढ़कर 16 से 18 प्रतिशत तक हो सकता है। सफर के फाउंडर प्रोजेक्ट डायरेक्टर डॉ. गुफरान बेग के अनुसार दिवाली के अगले दिन 25 अक्टूबर को हवाएं विपरीत असर डालेंगी।

दिवाली पर कैसा रहेगा प्रदूषण
आकलन के अनुसार यदि आतिशबाजी नहीं होती तो पराली के इस धुंए की वजह से 25 अक्टूबर को प्रदूषण का स्तर बेहद खराब के उच्चतर स्तर से गंभीर के न्यूनतम स्तर पर रह सकता है। लेकिन यदि पिछले साल की तुलना में 25 प्रतिशत भी आतिशबाजी हुई तो दिवाली के दिन ही यह गंभीर स्तर पर पहुंच जाएगा और 25 अक्टूबर को भी गंभीर ही बना रहेगा। 26 अक्टूबर से इसमें सुधार होने की संभावना है क्येांकि इस दिन से हवाएं थोड़ी तेज हो जाएंगी और पराली का धुंआ लेकर राजधानी पहुंचने वाली हवाएं भी कमजोर रहेंगी।

पराली जलाने की बढ़ी घटनाएं
धनतेरस पर पराली जलाने के मामलों ने जोर पकड़ लिया है। अकेले पंजाब में 582 जगहों पर पराली जलाई गई। हरियाणा में भी 122 जगहों पर पराली जली है। वहीं अब तक पंजाब में 3114, पंजाब में 771 मामले सामने आ चुके हैं।