दिल्ली में फ्री में योग सिखाने वाली केजरीवाल सरकार की प्रयोगशालाएं आज से बंद हो जाएंगी। एलजी वीके सक्सेना ने प्रोग्राम जारी रखने के लिए अपनी मंजूरी नहीं दी है। एलजी ऑफिस के सूत्रों का कहना है कि दिल्ली के एलजी को फाइल ही नहीं मिली।
इस बीच एलजी सचिवालय के सूत्रों ने कहा है कि योग कार्यक्रम को 31 अक्टूबर से आगे जारी रखने की अनुमति लेने के संबंध में कोई फाइल अभी तक एलजी ऑफिस को नहीं मिली है। इसलिए यह कहना गलत है कि एलजी ने कार्यक्रम के एक्सटेंशन के लिए मंजूरी नहीं दी और इसलिए योग कार्यक्रम बंद करना पड़ रहा है।
सोमवार को ‘दिल्ली की योगशाला’ के ऑफिशल ट्विटर हैंडल से एक ट्वीट कर लोगों को इस बारे में जानकारी दी गई। ट्वीट में लिखा था, ‘साथियों, ‘दिल्ली की योगशाला’ की क्लास 1 नवंबर 2022 से सरकारी आदेश के अनुसार बंद की जा रही हैं। डीपीएसआरयू की बोर्ड मीटिंग में इसे जारी रखने का निर्णय ले लिया गया, लेकिन अभी तक इसे एलजी साहब की अनुमति नहीं मिली है। भविष्य में जैसे ही कोई सूचना आती है, तो आपको सूचित किया जाएगा।’
डिप्टी सीएम मनीष सिसोदिया ने भी इस बारे में ट्वीट कर कहा, ‘यूनिवर्सिटी का बोर्ड चाहता है कि दिल्ली के आम लोगों के लिए योगशाला चले, सरकार ने बजट भी दिया है, लेकिन फिर भी अफसरों को डरा-धमकाकर ‘दिल्ली की योगशाला’ बंद करने का आदेश जारी करा दिया गया है। फिलहाल मंगलवार से दिल्ली के पार्कों में योग की 590 क्लासेज बंद हो जाएंगी।’
पिछले हफ्ते दिल्ली सरकार के डायरेक्टोरेट ऑफ ट्रेनिंग एंड टेक्निकल एजुकेशन की सचिव ने 1 नवंबर से इस कार्यक्रम को बंद करने का आदेश जारी किया था, जिसके बाद उप-मुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने उन्हें शोकॉज नोटिस थमा दिया था। बाद में सिसोदिया ने आरोप लगाया था कि बीजेपी दिल्ली सरकार के अफसरों पर दबाव बनाकर उन्हें डरा-धमकाकर इस कार्यक्रम को बंद कराने की साजिश कर रही है। कार्यक्रम को जारी रखने के लिए सरकार ने एक नई फाइल बनाकर भी एलजी को भेजी थी। 28 अक्टूबर को सिसोदिया ने एलजी से मुलाकात कर योगशाला को जारी रखने की अनुमति देने का निवेदन भी किया था।
इस बीच शनिवार को इस कार्यक्रम का संचालन करने वाले डीपीएसआर यूनिवर्सिटी की बोर्ड ऑफ गवर्नेंस की बैठक में ‘दिल्ली की योगशाला’ को एक्सटेंशन देने के प्रस्ताव को मंजूरी दे दी गई। इसे फाइनल अप्रूवल के लिए जनरल काउंसिल के समक्ष प्रस्तुत किया जाना था, जिसके अध्यक्ष खुद एलजी हैं, लेकिन रविवार की छुट्टी के बाद सोमवार को भी काउंसिल की कोई बैठक नहीं हुई, जिसके बाद यह स्पष्ट हो गया कि अब 1 नवंबर से ‘दिल्ली की योगशाला’ जारी नहीं रह पाएंगी। दिल्ली के करीब 17 हजार लोग रोज ‘दिल्ली की योगशाला’ के माध्यम से दिल्ली के पार्कों व अन्य खुली जगहों पर प्रशिक्षित योग शिक्षकों के जरिए योग सीखते हैं और योगाभ्यास करते हैं।