नई दिल्ली. बरसात का मौसम आते ही हर किसी को डेंगू का डर सताने लगता है. लेकिन अब जल्द ही खतरनाक डेंगू और चिकनगुनिया से लोगों को राहत मिलने वाली है. दरअसल वैज्ञानिकों ने एक ऐसा ‘खास मच्छर’ तैयार किया है जो डेंगू फैलाने वाले मच्छरों का सफाया कर देगा. इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च (ICMR) ने ऐसे खास मादा मच्छरों को तैयार किया है. जिनसे पैदा होने वाले लार्वा में इनके वायरस नहीं होंगे.
आईसीएमआर-वीसीआरसी के डायरेक्टर डॉक्टर अश्विनी कुमार ने समाचार एजेंसी एएनआई से बातचीत में कहा कि वैज्ञानिकों ने एक खास तरह के मच्छर तैयार किये हैं जो डेंगू और चिकनगुनिया को धीरे-धीरे खत्म कर देंगे. उन्होंने कहा, ‘हम ऐसे मादा मच्छरों को छोड़ेंगे जो नर मच्छरों के संपर्क में आकर ऐसा लार्वा पैदा करेंगे, जिनमें ये वायरस नहीं होंगे. हमने मच्छर और अंडे तैयार किए हैं और उन्हें कभी भी छोड़ सकते हैं.’
डेंगू से लड़ने के लिए कोई दवा नहीं
आईसीएमआर-वीसीआरसी के शोधकर्ताओं ने एडीज एप्टिज की दो प्रजातियों को विकसित किया है. ये दोनों प्रजातियां ही डेंगू को खत्म करेंगे. बता दें कि इस साल भारत सरकार ने डेंगू से निपटने के लिए बायोटेक्नोलॉजी विभाग के टीएचएसटीआई ने डीएनडीआई (Drugs for Neglected Diseases initiative-(DNDI) India Foundation के साथ समझौता किया है. इस समझौते के तहत अगले पांच साल के अंदर डेंगू की प्रभावशाली दवा को विकसित किया जाएगा. फिलहाल डेंगू से लड़ने के लिए कोई दवा नहीं है.
डेंगू के लक्षण
भारत में बरसात के मौसम में ये बीमारी तेजी से फैलती है. इसमें बुखार, बेचैनी, उल्टी और शरीर में काफी तेज़ दर्द होने लगता है. मरीजों में ब्लड प्लेटलेट्स तेजी से कम होने लगते हैं. कई बार मरीज में आंतरिक ब्लीडिंग शुरू हो जाती है. ऐसे में कई अंग काम करने बंद कर देते हैं. आखिर में मरीज की मौत भी हो जाती है.
उत्तर भारत में डेंगू का कहर
उत्तर भारत में डेंगू के केस काफी ज्यादा आते हैं. राष्ट्रीय राजधानी में इस साल डेंगू के अब तक डेढ़ सौ के मामले सामने आए हैं. दिल्ली में जनवरी में डेंगू के 23 मामले, फरवरी में 16, मार्च में 22, अप्रैल में 20 और मई में 30 मामले आए थे. जबकि 11 जून तक 15 मामले सामने आए.