Fifa World Cup 2022: मोरक्को ने स्पेन को घर भेजा, ऐतिहासिक जीत के साथ पहली बार क्वॉर्टर फाइनल में एंट्री

Fifa World Cup 2022: मोरक्को की इस जीत में उनके गोलकीपर यासिन बोनो मैच के हीरो रहे, जिन्होंने पेनल्टी शूटआउट में एक-दो नहीं बल्कि तीन-तीन गोल सेव किए। इस अफ्रीकी देश ने फीफा वर्ल्ड कप में पहली बार अंतिम-8 में जगह बनाई है।

spain vs morocco

कतर: फीफा वर्ल्ड कप में मंगलवार की रात बड़ा उलटेफर देखने को मिला। मोरक्को ने स्पेन को हराते हुए टूर्नामेंट के इतिहास में पहली बार क्वार्टर फाइनल में जगह बनाई। निर्धारित समय तक दोनों टीमें कोई गोल नहीं कर पाईं, ऐसे में मैच का नतीजा पेनल्टी शूटआउट से निकला। पेनल्टी शूटआउट में मोरक्को 3-0 से जीता। क्वार्टर फाइनल में पहुंचने वाली मोरक्को सिर्फ चौथी अफ्रीकी टीम भी बनी है, उनसे पहले सिर्फ कैमरून (1990), सेनेगल (2002) और घाना (2010) ही ऐसा कमाल कर चुकी है।

6 फीट 5 इंच का गोलकीपर बना हीरो

कनाडा में जन्में मोरक्को के छह फीट पांच इंच लंबे गोलकीपर यासिन बोनो ने पूर्व चैंपियन स्पेन को एक भी गोल दागने नहीं दिया और अपनी टीम को ऐतिहासिक जीत दिला दी। कतर में खेले गए मैच में निर्धारित समय तक स्कोर 0-0 रहा। एक्स्ट्रा टाइम में भी दोनों टीमें गोल नहीं कर सकीं। आखिरकार पेनल्टी शूटआउट में मोरक्को ने यासिन के बूते क्वॉर्टर फाइनल में जगह बना ली। पेनल्टी शूटआउट में अब्देलहामिद सबीरी, हकीम जियेच और अशरफ हकीमी ने मोरक्को के लिए गोल किए जबकि बद्र बेनौन चूके गए। स्पेन के पाब्लो सराबिया का पेनल्टी शॉट पोस्ट से टकराया जबकि कार्लोस सोलेर और कप्तान सर्जियो बुस्केट्स की कीक पर मोरक्को के गोलकीपर बोनो ने शानदार बचाव किए।

स्पेन से पहली बार जीता मोरक्को

दोनों टीमों के बीच यह चौथा मुकाबला था और मोरक्को की टीम पहली बार स्पेन को हराने में सफल रही है। इससे पहले तीन मुकाबलों में से स्पेन ने दो में जीत दर्ज की जबकि एक ड्रॉ रहा। स्पेन को 2018 में भी मेजबान रूस ने प्री-क्वॉर्टर फाइनल में इसी तरह शूटआउट में हराया था। मोरक्को ने क्रोएशिया और बेल्जियम वाले ग्रुप में टॉप पर रहने के बाद क्वॉलिफाई किया था। मोरक्को ने पिछले साल की फाइनलिस्ट क्रोएशिया को गोलरहित ड्रॉ पर रोका था जबकि दुनिया की नंबर-2 टीम बेल्जियम को 2-0 से शिकस्त दी थी।

पेनल्टी शूटआउट में स्पेन फिसड्डी

मोरक्को ने स्पेन को 120 मिनट तक रोके रखा और फिर पूर्व चैंपियन को घर का रास्ता दिखा दिया। पेनल्टी शूटआउट में स्पेन का रिकॉर्ड खराब रहा है। उसने वर्ल्ड कप में पांचवीं बार शूटआउट का सामना किया और चौथी बार उसने मैच गंवाया। वह विश्व कप में स्विट्जरलैंड (बनाम यूक्रेन, 2006) के बाद ऐसी पहली टीम रही, जिसने पेनल्टी शूटआउट में एक भी गोल नहीं किया।