ऋषि सुनक (Rishi Sunak) ने पिछले दिनों ब्रिटेन (Britain) का प्रधानमंत्री बनकर एक नया इतिहास अपने नाम किया है। लेकिन सुनक की ही तरह कई और भारतीय मूल के नेता हैं जो भारत और भारतीय समुदाय के बीच एक अहम कड़ी बन गए हैं। ये नेता आज दुनियाभर में अपनी अलग-अलग नीतियों और कई अहम फैसलों के लिए जाने जाते हैं।
लंदन: भारतीय मुल के ऋषि सुनक अब ब्रिटेन के प्रधानमंत्री हैं। उनके साथ ही अब यूके भी दुनिया का वह हिस्सा बन गया जहां के मुखिया की जड़ें भारत से जुड़ी हुई हैं। यूके से लेकर पुर्तगाल और सूरीनाम तक मौजूद भारतीय मूल के राष्ट्राध्यक्ष न सिर्फ राजनयिक संबंध मजबूत करने में मददगार साबित होते हैं बल्कि वो कई और पहलूओं को भी उजागर करते हैं। दुनिया और ब्रिटेन, अब काफी बदल चुके हैं और सुनक का पीएम बनना इस बात को दर्शाता है। एक हिंदू पीएम अब 10 डाउनिंग स्ट्रीट पर मौजूद है। सुनक के जैसे कई राजनेता भारतीयों के लिए आदर्श बन चुके हैं।
भारत के लिए कई मौके
अगर बात सुनक की करें तो वह ब्रिटेन के पीएम बनने वाले भारतीय मूल के पहले व्यक्ति हैं और पहले हिंदू हैं जो इस पद तक पहुंचे हैं। ब्रिटेन के पूर्व पीएम विंस्टन चर्चिल की मौत के 15 साल बाद सुनक का जन्म हुआ था। विंस्टन चर्चिल जो भारतीयों के लिए अपनी घृणा के लिए जाने जाते हैं, उनके देश में सुनक पहले गैर-अश्वेत पीएम बने। सन् 1834 में बनी कंजर्वेटिव पार्टी के पहले गैर ब्रिटिश मुखिया भी हैं। भारत में कई लोगों के लिए यह एक एतिहासिक मौका है। लेकिन सवाल यही है कि सुनक या फिर भारतीय मूल के दूसरे नेता का सामने आना भारतीय कूटनीतिक के लिए कितने और कैसे मौके प्रस्तुत करता ळै।
मजबूत होगी एक कड़ी
भारत की सरकार हमेशा से ही विदेशों में बसे भारतीयों के साथ करीबी संपर्क स्थापित करना चाहती है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने जब कभी भी भारतीय समुदाय को संबोधित किया है, यही बात जोर देकर कही है। पीएम मोदी ने जब सुनक को बधाई दी तो उन्होंने कहा, ‘नए पीएम यूके में बसे भारतीयों के बीच एक पुल की तरह हैं।’ पीएम मोदी से पहले अमेरिका में भारत के राजदूत रहे हर्ष श्रींगला ने भी भारतीय अमेरिकियों को दोनों देशों के बीच एक मौलिक कड़ी करार दिया था। ऐसे में सुनक का सामने आना इसी ‘जिंदा कड़ी’ को मजबूत करने का मौका है। साथ ही सांस्कृति कूटनीति को भी आगे बढ़ाने में मदद मिलेगी।
कई और नेता
सुनक के अलावा कई और भारतीय नेता हैं जो इस तरह से भारत को दुनिया के करीब लाने का काम कर रहे हैं। पुर्तगाल, गुयाना, मॉरिशस, सूरीनाम और सेशेल्स, ये वो देश हैं जहां का मुखिया भारतीय ही है। साल 2015 से पुर्तगाल के पीएम के पद पर एंटोनियो कोस्टा मौजूद हैं और वह भी भारतीय हैं। कोस्टक के पिता ओरलांडो दा कोस्टा एक लेखक थे जो गोवा के रहने वाले थे। उन्होंने भारतीय पुर्तगाली समुदाय के बारे में कई लेख लिखे हैं। इसी तरह से साल 2020 में मोहम्मद इरफान को गुयाना का राष्ट्रपति चुना गया था। इरफान के वंशज 19वी सदी के मध्य में भारत से गुयाना गये थे जहां पर अंग्रेजों का राज था।