गगरेट (बृज): गगरेट अस्पताल में इलाज के दौरान लापरवाही का मामला सामने आया है। अस्पताल में सड़क दुर्घटना में घायल युवक के सिर में ही कांच के टुकड़े छोड़ दिए। मरीज ने जब दर्द होने पर सीटी स्कैन करवाया, तब इसका पता चला। सड़क दुर्घटना में घायल हुए एक युवक को गंभीर अवस्था में सिविल अस्पताल गगरेट लाया गया। यहां पहले तो डाॅक्टर ही घायल को देखने डेढ़ घंटे तक उपलब्ध नहीं हो पाए और नर्स ने बिना जख्म साफ किए टांके तक लगा दिए। घायल युवक को कुछ तकलीफ महसूस हुई तो उसका सीटी स्कैन करवाया गया। इस पर पता चला कि जख्म के साथ ही कांच के टुकड़े भी अंदर छोड़ दिए हैं। घायल युवक के साथ आए उसके परिजनों ने सिविल अस्पताल गगरेट में बरती जा रही लापरवाही की शिकायत निदेशक स्वास्थ्य विभाग से की है।
बुधवार सुबह जाड़ला कोयड़ी गांव का मोहित अपनी बहन को दौलतपुर चौक छोड़ने जा रहा था तो घनारी गांव में सड़क पर अचानक बेसहारा पशु आ जाने से उसकी कार सड़क के साथ सटे पेड़ से टकरा गई। इसके चलते मोहित के सिर व टांग पर चोटें आईं, उसे तत्काल गंभीर अवस्था में सिविल अस्पताल गगरेट लाया गया। मोहित के परिजनों का आरोप है कि पहले तो डाॅक्टर डेढ़ घंटा देरी से उसे उपचार देने पहुंचे लेकिन मौके पर मौजूद नर्स ने मोहित के सिर पर हुए जख्म पर टांके लगा दिए। मोहित की तकलीफ कम नहीं हुई तो दोपहर को उसे क्षेत्रीय अस्पताल ऊना के लिए रैफर किया जाने लगा।
मोहित को जब सिर में दर्द महसूस हुआ तो उसका सीटी स्कैन करवाया गया, जिसमें पता चला कि जख्म के अंदर कांच के टुकड़े हैं, जिस पर उसे अस्पताल लाया गया और यहां दूसरे डाॅक्टर ने मोहित के टांके खोल कर जब जख्म साफ किया तो उसमें से कांच के टुकड़े निकाले। मोहित के साथ आए समाजसेवी धर्मपाल सोनू के कहा कि सिविल अस्पताल गगरेट का भगवान ही मालिक है। यहां व्याप्त अव्यवस्थाओं पर कोई ध्यान नहीं दे रहा है। उन्होंने कहा कि इसकी शिकायत स्वास्थ्य निदेशक के साथ-साथ मुख्य चिकित्सा अधिकारी ऊना से की जाएगी।
उधर, मोहित के चाचा धर्मपाल सोनू ने इस घटना की उच्च स्तरीय जांच की मांग की है और दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग की है। जिला चिकित्सा अधिकारी डाॅ. मंजू बेहल ने कहा कि मामला उनकी जानकारी में नहीं है, कल इसकी छानबीन की जाएगी, और जो भी आवश्यक कार्रवाई अमल में लाई जाएगी।