शिक्षण संस्थानों के सड़कों पर दौड़ने वाले वाहनों की सुरक्षा को देखते हुए कहा गया है कि इनकी साल में एक बार पासिंग की जाए।
हिमाचल के सभी सरकारी और गैर सरकारी शिक्षण संस्थानों के वाहनों की सालाना पासिंग कराना अनिवार्य कर दिया है। छात्र और छात्राओं की सुरक्षा को देखते हुए राज्य सरकार ने यह कदम उठाया है। पासिंग न कराने वाले संस्थानों के वाहनों के परमिटों का नवीनीकरण नहीं कि या जाएगा। राज्य सरकार के ध्यान में यह गंभीर मामला सामने आने के बाद यह कदम उठाया गया है।
सुप्रीम कोर्ट की कमेटी ने राज्य में यात्री बसों, शिक्षण संस्थानों के वाहन हादसों को देखते हुए सुरक्षा के मद्देनजर इस दिशा में निर्देश भी दिए हैं। इस संबंध में परिवहन निदेशक अनुपम कश्यप ने राज्य के सभी क्षेत्रीय परिवहन अधिकारियों (आरटीओ) को पत्र जारी कर दिए हैं। इस पत्र में कहा गया है कि हर माह पहले हफ्ते में ऐसे कितने वाहनों की पासिंग की गई है, इसका विस्तृत जानकारी निदेशालय को देनी होगी।
शिक्षण संस्थानों के सड़कों पर दौड़ने वाले वाहनों की सुरक्षा कोदेखते हुए कहा गया है कि इनकी साल में एक बार पासिंग की जाए। इन वाहनों की फिटनेस देखने के लिए संबंधित मोटर व्हीकल इंस्पेक्टर (एमवीआई) को पासिंग के दौरान गहनता से जांचने के निर्देश दिए हैं।यह भी देखा जाए कि ये वाहन सड़कों में चलाने लायक हैं या नहीं।