मेरी शादी किए बिना तुम कैसे चले जाओगे, मुझे दुल्हन नहीं बनाओगे… झकझोर देगा बेटी का विलाप

फसल खराब होने से किसान ने की आत्महत्या

झांसी के पूंछ थाना इलाके में एक किसान ने बेटी की शादी की चिंता में फंदा लगाकर आत्महत्या कर ली। वह कहता था कि अबकी फसल अच्छी होगी…, बिटिया को राजकुमारी की तरह विदा करेगा, लेकिन बारिश में तिल और मूंगफली की फसल नष्ट हो गई तो बेटी की डोली सजाने का सपना लिए वह शुक्रवार को फांसी के फंदे पर झूल गया। जानकारी के मुताबिक, पूंछ निवासी दयाशंकर (41) खेतीबाड़ी कर परिवार का जीवन यापन करता था। उसके पास तीन बीघा की खेती थी, जिसमें उसने एक बीघा में तिल और दो बीघा में मूंगफली बोई थी। दयाशंकर के तीन बच्चे शिवानी (20), शिवा (15) व छोटू (12) हैं।
झांसी के पूंछ थाना क्षेत्र का मामला
दयाशंकर इस वर्ष अपनी बेटी शिवानी के हाथ पीले करना चाहता था। उसने लड़का भी देखा था। जैसे ही उसके पास कुछ पैसा जमा होता था वह बिटिया की शादी का सामान ले आता था। बिटिया को दुलराते हुए कहता था कि देखना पूरा गांव देखेगा, अपनी शिवानी को राजकुमारी की तरह विदा करूंगा। इसकी शादी में कोई कमी नहीं होगी। पूरे गांव को न्योता दूंगा।

मृतक किसान दयाशंकर
अच्छी फसल होने की थी आस
घरवालों से कहता था कि उसकी तिल और मूंगफली की फसल इस बार बहुत बढ़िया होगी। फसल बेचकर बिटिया की शादी हो जाएगी और दोनों बच्चों की पढ़ाई भी हो जाएगी।लेकिन, बारिश की वजह से दयाशंकर की फसल खराब हो गई।
सांकेतिक तस्वीर
खेतों में पानी भर जाने से अवसाद में था किसान
परिवार वाले बताते हैं कि जब खेतों में पानी भर गया तो दयाशंकर के आंसू बह निकले थे। दयाशंकर के साले संतराम और बेटे शिवा ने बताया कि फसल खराब होने की वजह से आर्थिक संकट पैदा हो गया था। ऐसे में दयाशंकर को बेटी की शादी की चिंता सताए जा रही थी। दयाशंकर मानसिक अवसाद की स्थिति में पहुंच गए थे।

किसान की आत्महत्या से गांव का माहौल गमगीन
शुक्रवार की रात में वह रोज की तरह सोये थे। शनिवार की सुबह उनका शव घर के एक कमरे में फंदे पर लटका मिला। इससे परिजनों में चीख-पुकार मच गई। सूचना पर पहुंची पुलिस ने शव को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया। घटना से परिजनों का बुरा हाल बना हुआ है। गांव का माहौल भी गमगीन है।
सांकेतिक तस्वीर
पापा तुम लौट आओ, मुझे दुल्हन नहीं बनाओगे
पिता दयाशंकर के आत्महत्या कर लेने से बेटी शिवानी का रो-रोकर बुरा हाल है। पुलिस ने पोस्टमार्टम के बाद शव परिजनों को दिया तो घर में शिवानी बेहाल हो गई। वह रोते हुए पुकारती रही…पापा तुम लौट आओ, मुझे दुल्हन नहीं बनाओगे, मेरी शादी किए बिना तुम कैसे चले जाओगे। उधर, दोनों बेटे भी पापा के शव पर रोते-बिलखते रहे।