मानवता से बड़ा कोई धर्म नहीं होता. सिख समुदाय के लोग पूरी दुनिया में अपनी नेकी से इसे सत्यापित कर रहे हैं. रूस के आक्रमण के बाद जहां यूक्रेन में स्थिति नाजुक है और 35 लाख से अधिक लोग पोलैंड और अन्य पड़ोसी देशों में शरणार्थियों बनकर पहुंचे और परेशानी झेल रहे हैं. वहीं इस संकट काल में फ्री लंगर सेवा चलाकर सिख समुदाय ने एक बार फिर से साबित कर दिया कि वो सेवाभाव में कभी पीछे नहीं रहते हैं.
सिख स्वयंसेवक पोलैंड सीमा पर पहुंचने वाले शरणार्थियों को गर्म भोजन वितरित कर रहे हैं. यूनाइटेड सिख और खालसा एड इंटरनेशनल, दोनों ही संगठन के लोगों ने पोलैंड के पास के शहरों में सहायता केंद्र स्थापित किए हैं, जहां शरणार्थियों को गर्म भोजन परोसा जा रहा है. साथ ही मेडिकल सहायता भी मुहैया कराई जा रही है.
यूनाइटेड सिख के स्वयंसेवक लगातार पोलैंड के मेड्यका में शरणार्थियों को मुफ्त भोजन देने के लिए लंगर चला रहे हैं और यूक्रेन के अंदर भी सीमा प्रहरियों के लिए गर्म भोजन भी ले जा रहे हैं. इसके अतिरिक्त, स्वयंसेवक बच्चों को अस्पताल पहुंचाने में मदद कर रहे है. साथ और रोगियों को सुरक्षित स्थानों पर ले जाने में मदद कर रहे हैं ताकि अधिक से अधिक लोगों की जान बच सके.
ठीक इसी तरह पांच सीमावर्ती देशों में खालसा एड की टीमें शरणार्थियों के लिए 24 घंटे लंगर चला रही हैं. वे यूक्रेन के भीतर चिकित्सा आपूर्ति और भोजन सहित आवश्यक वस्तुओं की डिलीवरी भी कर रहे हैं. बता दें, खालसा एड इंटरनेशनल ने यूक्रेन से निकलने में लोगों की मदद भी कर रहा है. वो पीड़ितो के अभिभावकों को फोन लगा रहा है और यूक्रेन से भागे हुए शरणार्थियों के लिए परिवहन की व्यवस्था करने में मदद भी कर रहा है.
बता दें, यह पहला मौका नहीं जब खालसा एड लोगों की मदद के लिए आगे आया है. म्यांमार का संकट हो, बाढ़ग्रस्त इलाके हो, या फिर कोरोना महामारी का संकट, सिख समुदाय के लोग हमेशा लोगों का पेट भरने के लिए आगे आए हैं. यही कारण है कि कहा जाता है कि सिख मतलब सेवा. अब यूक्रेन में सिख समुदाय के लोगों द्वारा लंगर लगाया जा रहा है.
मानवता से बड़ा कोई धर्म नहीं होता. सिख समुदाय के लोग पूरी दुनिया में अपनी नेकी से इसे सत्यापित कर रहे हैं. रूस के आक्रमण के बाद जहां यूक्रेन में स्थिति नाजुक है और 35 लाख से अधिक लोग पोलैंड और अन्य पड़ोसी देशों में शरणार्थियों बनकर पहुंचे और परेशानी झेल रहे हैं. वहीं इस संकट काल में फ्री लंगर सेवा चलाकर सिख समुदाय ने एक बार फिर से साबित कर दिया कि वो सेवाभाव में कभी पीछे नहीं रहते हैं.
सिख स्वयंसेवक पोलैंड सीमा पर पहुंचने वाले शरणार्थियों को गर्म भोजन वितरित कर रहे हैं. यूनाइटेड सिख और खालसा एड इंटरनेशनल, दोनों ही संगठन के लोगों ने पोलैंड के पास के शहरों में सहायता केंद्र स्थापित किए हैं, जहां शरणार्थियों को गर्म भोजन परोसा जा रहा है. साथ ही मेडिकल सहायता भी मुहैया कराई जा रही है.
यूनाइटेड सिख के स्वयंसेवक लगातार पोलैंड के मेड्यका में शरणार्थियों को मुफ्त भोजन देने के लिए लंगर चला रहे हैं और यूक्रेन के अंदर भी सीमा प्रहरियों के लिए गर्म भोजन भी ले जा रहे हैं. इसके अतिरिक्त, स्वयंसेवक बच्चों को अस्पताल पहुंचाने में मदद कर रहे है. साथ और रोगियों को सुरक्षित स्थानों पर ले जाने में मदद कर रहे हैं ताकि अधिक से अधिक लोगों की जान बच सके.
ठीक इसी तरह पांच सीमावर्ती देशों में खालसा एड की टीमें शरणार्थियों के लिए 24 घंटे लंगर चला रही हैं. वे यूक्रेन के भीतर चिकित्सा आपूर्ति और भोजन सहित आवश्यक वस्तुओं की डिलीवरी भी कर रहे हैं. बता दें, खालसा एड इंटरनेशनल ने यूक्रेन से निकलने में लोगों की मदद भी कर रहा है. वो पीड़ितो के अभिभावकों को फोन लगा रहा है और यूक्रेन से भागे हुए शरणार्थियों के लिए परिवहन की व्यवस्था करने में मदद भी कर रहा है.
बता दें, यह पहला मौका नहीं जब खालसा एड लोगों की मदद के लिए आगे आया है. म्यांमार का संकट हो, बाढ़ग्रस्त इलाके हो, या फिर कोरोना महामारी का संकट, सिख समुदाय के लोग हमेशा लोगों का पेट भरने के लिए आगे आए हैं. यही कारण है कि कहा जाता है कि सिख मतलब सेवा. अब यूक्रेन में सिख समुदाय के लोगों द्वारा लंगर लगाया जा रहा है.