संस्थान की ओर से जारी रिपोर्ट में कहा गया है कि भीषण सर्दी के चलते शनिवार को 14 लोगों की हार्ट अटैक से मौत हुई है। इनमें 6 लोगों की इलाज के दौरान संस्थान के भीतर मौत हुई जबकि 8 लोग जब अस्पताल लाए गए थे, तब उनकी हार्ट अटैक से मौत हो चुकी थी। संस्थान ने बताया कि बीते एक हफ्ते में 98 लोगों की हार्ट अटैक और ब्रेन स्ट्रोक से मौत हो चुकी है। इनमें सिर्फ 44 लोगों की ही मौत अस्पताल में हुई। 54 लोग अस्पताल लाए जाने से पहले ही दम तोड़ चुके थे।
60 के आसपास की उम्र के सबसे ज्यादा मरीजों की मौत
बताया गया कि पहली जनवरी से लेकर 7 जनवरी तक कानपुर के लक्ष्मीपत सिंहानिया हार्ट डिसीज इंस्टिट्यूट में 4 हजार 862 मरीज दिल की समस्या लेकर पहुंचे। शनिवार को इलाज के दौरान 14 मरीजों ने दम तोड़ दिया। 1 से लेकर 7 जनवरी तक हार्ट अटैक से मरने वाले 98 लोगों में 18 मरीजों की उम्र 40 साल से कम थी। 30 मरीज ऐसे थे, जो 40 से 60 साल के अंतर्गत आते थे। मरने वाले सबसे ज्यादा मरीजों में 60 साल के आसपास वाले लोग हैं, जिनकी संख्या 50 बताई गई है।
एक्सपर्ट्स ने बताया, कैसे बचाएं जान
एक्सपर्ट्स का कहना है कि ज्यादा सर्दी की वजह से अचानक ब्लड प्रेशर बढ़ जा रहा है, जिससे नसों में खून का थक्का जम जा रहा है। इससे हार्ट अटैक और ब्रेन स्ट्रोक की संभावना बढ़ जाती है। ऐसे में लोगों से सावधानी बरतने की भी अपील की गई है और जरूरत पड़ने पर ही घर से बाहर निकलने की सलाह दी गई है। डॉक्टरों का कहना है कि ऐसे मौसम में अगर कोई बाहर निकलता भी है तो वह कान, नाक और सिर ढंककर निकले। वहीं 60 साल से ज्यादा की उम्र के लोगों को शीतलहर में बाहर न निकलने को कहा गया है।