लंदन की गेटअप में हिमाचल की खाकी, ट्रैफिक कर्मियों ने पहनी -20 डिग्री सहने वाली जैकेट

शिमला, 26 मई : हिमाचल की राजधानी में हिमपात के दौरान कई विकट समस्याएं पैदा हो जाती हैं। फ्रंट मोर्चे पर पुलिस कर्मी ही होते हैं। अब चिंता की कोई बात नहीं है। शिमला की ट्रैफिक पुलिस को लंदन की मेट्रोपॉलिटन पुलिस (Metropolitan Police of London) की तर्ज पर कोट पार्का जैकेट (Coat Parka) उपलब्ध हुई हैं।

इसकी खासियत ये है कि -20 डिग्री सेल्सियस की ठंड में भी ये जैकेट पुलिस कर्मियों के तापमान को मेंटेन रखेगी। बनियान (Vests) कर्मियों को रात में दिखने में मदद करेगी।   दरअसल, इंडियन ऑयल कॉर्पोरेशन (Indian Oil Corporation) ने कॉरपोरेट सोशल रिस्पांसिबिलिटी (CSR) के तहत ये जैकेट उपलब्ध करवाई हैं।

बता दें कि हरेक कंपनी को सामाजिक जिम्मेदारी के तहत सीएसआर पर फंड व्यय करना होता है। सीएसआर को देश में 1 अप्रैल 2004 को लागू किया गया था।

शिमला, 26 मई : हिमाचल की राजधानी में हिमपात के दौरान कई विकट समस्याएं पैदा हो जाती हैं। फ्रंट मोर्चे पर पुलिस कर्मी ही होते हैं। अब चिंता की कोई बात नहीं है। शिमला की ट्रैफिक पुलिस को लंदन की मेट्रोपॉलिटन पुलिस (Metropolitan Police of London) की तर्ज पर कोट पार्का जैकेट (Coat Parka) उपलब्ध हुई हैं।

शिमला, 26 मई : हिमाचल की राजधानी में हिमपात के दौरान कई विकट समस्याएं पैदा हो जाती हैं। फ्रंट मोर्चे पर पुलिस कर्मी ही होते हैं। अब चिंता की कोई बात नहीं है। शिमला की ट्रैफिक पुलिस को लंदन की मेट्रोपॉलिटन पुलिस (Metropolitan Police of London) की तर्ज पर कोट पार्का जैकेट (Coat Parka) उपलब्ध हुई हैं।

इसकी खासियत ये है कि -20 डिग्री सेल्सियस की ठंड में भी ये जैकेट पुलिस कर्मियों के तापमान को मेंटेन रखेगी। बनियान (Vests) कर्मियों को रात में दिखने में मदद करेगी।   दरअसल, इंडियन ऑयल कॉर्पोरेशन (Indian Oil Corporation) ने कॉरपोरेट सोशल रिस्पांसिबिलिटी (CSR) के तहत ये जैकेट उपलब्ध करवाई हैं।

बता दें कि हरेक कंपनी को सामाजिक जिम्मेदारी के तहत सीएसआर पर फंड व्यय करना होता है। सीएसआर को देश में 1 अप्रैल 2004 को लागू किया गया था

इसकी खासियत ये है कि -20 डिग्री सेल्सियस की ठंड में भी ये जैकेट पुलिस कर्मियों के तापमान को मेंटेन रखेगी। बनियान (Vests) कर्मियों को रात में दिखने में मदद करेगी।   दरअसल, इंडियन ऑयल कॉर्पोरेशन (Indian Oil Corporation) ने कॉरपोरेट सोशल रिस्पांसिबिलिटी (CSR) के तहत ये जैकेट उपलब्ध करवाई हैं।

बता दें कि हरेक कंपनी को सामाजिक जिम्मेदारी के तहत सीएसआर पर फंड व्यय करना होता है। सीएसआर को देश में 1 अप्रैल 2004 को लागू किया गया था।