भारत की फारवर्ड हॉकी खिलाड़ी मुमताज खान FIH की राइजिंग स्टार ऑफ द ईयर बनी हैं. 19 वर्षीय मुमताज को उनके इस साल की शुरुआत में दक्षिण अफ्रीका में हुए वर्ल्ड कप के दौरान उनके शानदार प्रदर्शन को देखते हुए इस ख़िताब से नवाजा गया है.
विश्व कप में दागे थे आठ गोल
लखनऊ की रहने वाली मुमताज ने जूनियर वर्ल्ड कप के छह मैचों में आठ गोल दागे थे. जिसमें मलेशिया के खिलाफ एक हैट्रिक भी शामिल है. इस टूर्नामेंट में भारतीय टीम चौथे स्थान पर रही थी. मुमताज ने नीदरलैंड के खिलाफ हुए मुकाबले को छोड़कर बाकी सभी टीम के खिलाफ गोल किए थे. कांस्य पदक के लिए इंग्लैंड के खिलाफ मुकाबले में भारत 2-2 से बराबर पर रही थी और यह दोनों गोल मुमताज ने ही किए थे. हालांकि, शूट आउट मुकाबले में भारत को हार का सामना करना पड़ा था और टीम चौथे स्थान पर रही थी.
मां सड़क किनारे बेचती हैं सब्जी
बता दें कि आज मुमताज को पूरी दुनिया जानती है, लेकिन मुमताज के लिए यह मुकाम हासिल करना आसान नहीं था. मुमताज की मां कैसर जहां लखनऊ के तोपखाना बाजार में सड़क किनारे ठेले पर सब्जी बेचती हैं. पिता पहले रिक्शा चलाते थे. परिवार में माता-पिता के अलावा पांच बहनें हैं और एक छोटा भाई भी है.
परिवार की आर्थिक स्थिति ठीक नहीं है. एक छोटे से कमरे में परिवार के 8 सदस्य किसी तरह अपना जीवन गुजर-बशर करते हैं. शुरुआत में जब मुमताज ने खेलना शुरू किया तो लोगों ने उसे ताना मारा लेकिन आज वो देश का नाम रोशन कर रही हैं. उन्होंने खुद को साबित करके उन सभी की बोलती बंद कर दी जो उन पर उंगलियां उठाते थे.
कैसे बनी हॉकी प्लेयर
वहीं मुमताज साल 2013 में अपने स्कूल की एथलेटिक्स टीम के साथ आगरा गई थीं. यहां वह दौड़ में प्रथम स्थान पर रही थीं. जब हॉकी कोच ने उनकी रफ्तार को देखा तो उन्हें हॉकी खेलने की सलाह दी. कोच के कहने पर मुमताज ने हॉकी स्टिक उठा ली. उन्होंने सलेक्शन ट्रायल में चयनकर्ताओं को प्रभावित किया. मुमताज को स्पोर्ट्स हॉस्टल में स्कॉलरशिप के तहत दाखिला मिल गया.
मुमताज के घर की हालत बेहतर नहीं थी कि उनके माता-पिता उन्हें किट दिला सकें. उनकी ट्रेनिंग फीस दे सकें. हालांकि, मुमताज के कोच उनसे काफी प्रभावित थे. उन्होंने मुमताज को काफी सपोर्ट किया. उन्हें हॉकी किट दिलवाई. साल 2017 में जूनियर राष्ट्रीय टीम का हिस्सा बनीं. आज उन्हें अंतरराष्ट्रीय हॉकी संघ (FIH) की उभरती महिला वार्षिक स्टार खिलाड़ी का ख़िताब मिला है.
एफआईएच के इस वार्षिक पुरस्कार को चुनने के लिए अलग-अलग आधार अपनाए गए. जिसके तहत 40 प्रतिशत अंक विशेषज्ञों, 20 प्रतिशत टीम, 20 प्रतिशत फैंस के और 20 प्रतिशत मीडिया के अंक के आधार पर तय किए गए थे. जिसमें मुमताज 32.9 अंक के साथ पहले स्थान पर रहीं.