Mulayam Singh Yadav: वाराणसी की जेल में 6 दिन रहते हुए जब मुलायम सिंह ने लिया बड़ा प्रण

वाराणसी जेल में समाजवादी पार्टी के गठन का हुआ था निर्यण

वाराणसी जेल में समाजवादी पार्टी के गठन का हुआ था निर्यण

वाराणसी: यूपी के पूर्व मुख्यमंत्री और सपा के संरक्षक मुलायम सिंह यादव (Mulayam Singh Yadav Passed) का सोमवार को गुरुग्राम के मेदांता अस्पताल में निधन हो गया है. शोक की घड़ी में हर कोई मुलायम परिवार को सांत्वना दे रहा है. साथ ही कुछ लोग मुलायम सिंह से जुड़े पुराने किस्से याद कर रहे हैं. ऐसा ही एक किस्सा है समाजवादी पार्टी के गठन से जुड़ा हुआ.

धरतीपुत्र कहे जाने वाले मुलायम सिंह यादव ने जिस समाजवादी पार्टी (Samajwadi Party) की स्थापना की थी उसका अंतिम निर्णय उन्होंने वाराणसी (Varanasi) की सेंट्रल जेल (Central Jail) में लिया था. 6 दिन जेल में रहने के दौरान ही कई नेताओं से बातचीत के बाद उन्होंने 4 अक्टूबर को इसकी स्थापना का प्रण लिया था.

समाजवादी पार्टी की सरकार में पूर्व मंत्री रहे शतरुद्र प्रकाश ने इस पूरे घटनाक्रम को याद करते हुए बताया कि देवरिया के रामकोला के गन्ना मिल में किसान आंदोलन में चली गोली चली थी. इसके बाद 23 सितम्बर 1992 को मुलायम सिंह यादव ने रामकोला जाने का ऐलान किया था. तत्कालीन कल्याण सिंह की सरकार ने वहां किसी भी नेता के जाने पर रोक लगा रखी थी. इसके बावजूद मुलायम सिंह यादव वहां किसानों के मिलने जा रहे थे. लेकिन एक दिन पहले ही मुलायम सिंह यादव को आजमगढ़ जिले के हर्षनगर में गिरफ्तार कर लिया गया और फिर उन्हें वाराणसी की सेंट्रल जेल में लाया गया.

6 दिन की जेल,बिना शर्त हुए रिहा
सेंट्रल जेल में उन्हें आम कैदियों की तरह ही रखा गया. वाराणसी की सेंट्रल जेल में वे 6 दिन रहे. उसके बाद बिना शर्त के ही उन्हें रिहा कर दिया गया. नई पार्टी के गठन को लेकर उस वक्त पहले से ही चर्चा चल रही थी लेकिन उसके ऐलान का आखिरी मन उन्होंने जेल में ही बनाया. शतरुद्र प्रकाश ने बताया कि नेता जी कहा कि जेल से वो रिहा हो या नहीं लेकिन 4 अक्टूबर को वो किसी भी कीमत पर नई पार्टी की घोषणा करेंगे.

इसलिए रखा समाजवादी पार्टी नाम
शतरुद्र प्रकाश ने बताया कि पहले नेताओं ने बैठक में लोहिया जी नाम पर पार्टी का नाम रखने का मन बनाया था लेकिन नेता जी सबको जोड़कर चलना चाहते थे, इसलिए उन्होंने इसका नाम ‘समाजवादी पार्टी’ रखा.