शहर के बस स्टैंड पर करीब-करीब 6 करोड़ की लागत से बहुमंजिला पार्किंग (multi storey parking) का निर्माण हुआ। करीब 6 महीने पहले वाहनों को पार्किंग का आबंटन कर दिया गया। धड़ाधड़ पार्किंग फुल हो गई। लेकिन 6 महीने के भीतर ही टाइलें चटकनी शुरू हो गई हैं। लिहाजा, निर्माण कार्य की गुणवत्ता पर सवाल उठने शुरू हो गए हैं।
शुरू में पार्किंग के शुल्क को लेकर सवाल उठे थे। इसके बाद उपायुक्त ने दामों में कटौती का निर्णय लिया। 1500 से 2000 के बीच कवर पार्किंग मिलने से वाहन मालिकों ने राहत की सांस ली। मगर इस बात का इल्म नहीं था कि कथित घटिया गुणवत्ता के कारण जल्द ही परेशानी भी उठानी पड़ेगी।
एमबीएम न्यूज नेटवर्क को तस्वीरें भेजते हुए वाहन मालिकों ने कहा कि टाइलें टूटने के कारण रेत भी बिखर रहा है। इससे परेशानी दोगुना हो रही है।
गौरतलब है कि पार्किंग का निर्माण हिमाचल बस स्टैंड प्रबंधन व विकास प्राधिकरण (Himachal Bus Stand Management and Development Authority) द्वारा करवाया गया था। पहले ये पार्किंग उद्घाटन के बाद कई महीनों तक शुरू न होने के कारण चर्चा में रही। फिर दामों को लेकर चर्चा में आई। एक साल के भीतर तीसरी बार गुणवत्ता को लेकर चर्चा में है।
उधर, क्षेत्रीय प्रबंधक की स्तुति पर अड्डा प्रबंधन व विकास प्राधिकरण द्वारा ठेकेदार की सिक्योरिटी राशि के भुगतान पर रोक लगाने की भी सूचना है।
एमबीएम न्यूज नेटवर्क से बातचीत करते हुए क्षेत्रीय प्रबंधक संजीव बिष्ट ने कहा कि प्रबंधन मुख्यालय को इस बारे सूचित कर दिया गया था। जानकारी ये है कि ठेकेदार की सिक्योरिटी राशि के भुगतान पर रोक लगाई गई है।
पार्किंग की टूटी टाइलें।