कोलंबो. श्रीलंका में राष्ट्रपति गोटाबाया राजपक्षे के इस्तीफा देने के ऐलान के बाद अब उनके परिवार के सदस्य देश छोड़ने की फिराक में हैं. श्रीलंका की मीडिया के मुताबिक गोटाबाया राजपक्षे के भाई बासिल राजपक्षे कटूनायके एयरपोर्ट पर स्थित सिल्क रूट डिपार्चर टर्मिनल से देश छोड़कर भागने की फिराक में थे. इस बीच आव्रजन अधिकारियों ने काम करने से इनकार कर दिया, जिससे वह भाग नहीं पाए.
बासिल राजपक्षे गोटाबाया सरकार में मंत्री रह चुके हैं. प्रदर्शनकारियों का आरोप है कि इस शासनकाल के दौरान राजपक्षे परिवार के सदस्यों ने जमकर कमाई की. श्रीलंका की मीडिया ने कहा कि जब बासिल देश छोड़कर भागने के लिए एयरपोर्ट पहुंचे तब अधिकारियों ने काम करने से इनकार कर दिया. इसके बाद बासिल राजपक्षे को वहां से वापस जाने के लिए मजबूर होना पड़ा. आलम यह रहा कि वहां मौजूद अन्य यात्रियों ने बासिल राजपक्षे का इतना ज्यादा विरोध किया कि एयरपोर्ट के अधिकारियों ने चेक इन करने से इंकार कर दिया.
‘राष्ट्रपति गोटबाया राजपक्षे अभी देश में ही हैं’
बताया जा रहा है कि एयरपोर्ट के कर्मचारी यूनियन ने काम करने रोक लगा दी है, ताकि देश के बड़े नेता श्रीलंका छोड़कर भाग नहीं सकें. इससे पहले श्रीलंका की संसद के अध्यक्ष महिंदा यापा अभयवर्दना ने सोमवार को कहा था कि राष्ट्रपति गोटबाया राजपक्षे अभी देश में ही हैं. महिंदा यापा ने राष्ट्रपति के संभवत: श्रीलंका छोड़कर चले जाने की खबरों का खंडन किया.
राजपक्षे (73) ने अभी औपचारिक रूप से इस्तीफा नहीं दिया है और वह कहां हैं, इसका पता नहीं चल पाया है. हालांकि, राष्ट्रपति सचिवालय राजपक्षे के आधिकारिक आवास छोड़कर चले के बाद भी उनकी तरफ से बयान जारी कर रहा है.
इससे पहले शनिवार को हजारों लोग राष्ट्रपति के सरकारी आवास में घुस गये थे. अभयवर्दना ने कहा कि गोटाबाया देश छोड़कर नहीं गये हैं, जैसा कि मीडिया में अटकलें लगायी जा रही हैं. उनके कार्यालय ने कहा, ‘ऐसी अटकलें तब लगायी गयीं, जब संसद के अध्यक्ष महिंदा यापा अभयवर्दना ने गलती से कह दिया था कि वह (राजपक्षे) देश से चले गये हैं, लेकिन अपना इस्तीफा देने के लिए वह बुधवार को लौट आयेंगे. अभयवर्दना ने बाद में अपनी गलती सुधारी.’
श्रीलंका अप्रत्याशित आर्थिक संकट का सामना कर रहा
राष्ट्रपति राजपक्षे ने शनिवार को संसद के अध्यक्ष को सूचित किया था कि वह 13 जुलाई को इस्तीफा देंगे. संसद के अध्यक्ष के कार्यालय ने कहा कि संसद ने प्रक्रिया की शर्तों के अनुसार उत्तराधिकारी के निर्वाचन का पूरा इंतजाम कर लिया है. (एजेंसी इनपुट)