एयर इंडिया की एक महिला पायलट ने उत्तरी ध्रुव के ऊपर विमान उड़ाकर इतिहास रच दिया. जिसके बाद उन्हें सैन फ्रांसिस्को स्थित विमानन संग्रहालय में जगह दी गई. भारतीय महिला पायलट की यह उपलब्धि हम भारतीयों के लिए गर्व का क्षण है. यह खास उपलब्धि उन्हें लगभग 16 हजार किलोमीटर की रिकॉर्ड दूरी तय करने के बाद मिली है, जोकि दूसरे पायलटों के लिए एक मिसाल है.
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अमेरिका स्थित एविएशन म्यूजियम में मिली जगह
कैप्टन जोया अग्रवाल के रूप में पहचाने जाने वाली पायलट ने एयर इंडिया की सभी महिला पायलटों की उपलब्धि से अमेरिका स्थित विमानन संग्रहालय प्रभावित हुआ. उन्होंने अपने म्यूजियम में इस उपलब्धि को जगह देने की पेशकश की. साल 2021 में पहली बार, जोया अग्रवाल के नेतृत्व में एयर इंडिया की एक अखिल महिला पायलट टीम ने उत्तरी ध्रुव को कवर करते हुए, अमेरिका में सैन फ़्रांसिस्को (SFO) से भारत के बेंगलरु शहर तक दुनिया के सबसे लंबे हवाई मार्ग को कवर किया था.
कैप्टन जोया अग्रवाल ने से कहा, ”मैं यह देखकर चकित थी कि मैं वहां पर एकमात्र जीवित इंसान हूं, मैं बहुत आभारी हूं. मुझे विश्वास नहीं हो रहा है कि मैं अमेरिका में एक प्रतिष्ठित विमानन संग्रहालय का हिस्सा हूं”.
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जोया ने आगे कहा, ”मैं ईमानदारी से कहूं मुझे विश्वास नहीं हो रहा है कि मुझे यूएसए में एक प्रतिष्ठित विमानन संग्रहालय का हिस्सा बनने का मौक़ा मिला. मैं संयुक्त राज्य अमेरिका के संग्रहालय में जगह बनाने वाली पहली भारतीय महिला हूं, जो जीवित है. यह एक सम्मान की बात है कि अमेरिका ने एक भारतीय महिला को अपने संग्रहालय के लिए मान्यता दी. यह मेरे और देश के लिए महान क्षण है.
संग्रहालय ने उन्हें उनके लंबे करियर के लिए याद किया
एसएफओ संग्रहालय ने भारतीय पायलट जोया अग्रवाल के असाधारण उड़ान करियर की सराहना की और उन्होंने यह भी स्वीकार किया कि कैसे वह अपनी कड़ी मेहनत और समर्पण से दुनिया भर की महिलाओं को प्रेरित करती रही हैं.
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सैन फ्रांसिस्को एविएशन म्यूजियम के एक अधिकारी ने ANI से कहा, “वह हमारे कार्यक्रम में शामिल होने वाली पहली महिला भारतीय पायलट हैं. एयर इंडिया के साथ उनके उल्लेखनीय करियर के अलावा, 2021 में एसएफओ से बेंगलरु के लिए एक महिला पायलट टीम का नेतृत्व करते हुए रिकॉर्ड-तोड़ उड़ान की.
दुनिया के बारे में उनकी सकारात्मकता और अन्य लड़कियों और महिलाओं को उनके सपनों को हासिल करने में मदद करने के लिए प्रतिबद्धता बेहद प्रेरणादायक है. कैप्टन अग्रवाल के व्यक्तिगत इतिहास को रिकॉर्ड करने के लिए उनकी भागीदारी से हम सम्मानित महसूस कर रहे हैं और हम आने वाली पीढ़ियों को शिक्षित और प्रेरित करने की उम्मीद करते हैं.