2024 लोकसभा चुनाव के लिए विपक्ष की ओर से सियासी शतरंज की चाल चलना शुरू किया जा चुका है। एक तरफ जहां बिहार के मुख्यमंत्री विपक्ष को एकजुट करने की कवायद में जुटे हैं। वहीं दूसरी तरफ विपक्षी दलों के सुप्रीमो खुद को 2024 में बतौर प्रधानमंत्री लॉन्च करने की मुहिम शुरू कर चुके हैं।
नीलकमल, पटना: 2024 लोकसभा चुनाव में नरेंद्र मोदी ( PM Narendra Modi ) के खिलाफ कांग्रेस पार्टी तीसरी बार राहुल गांधी ( Rahul Gandhi ) को लॉन्च करने के लिए भारत जोड़ो यात्रा की शुरुआत की है। बुधवार 7 सितंबर से भारत जोड़ो यात्रा की शुरुआत करने वाले राहुल तमिलनाडु, केरल, कर्नाटक, आंध्र प्रदेश, तेलंगाना, महाराष्ट्र, मध्य प्रदेश, राजस्थान, हरियाणा, उत्तर प्रदेश, दिल्ली, पंजाब, हिमाचल प्रदेश होते हुए जम्मू-कश्मीर तक जाएंगे। राहुल गांधी के इस यात्रा में महत्वपूर्ण बात यह है कि उनकी यात्रा उन राज्यों से नहीं गुजरेगी जहां इस साल विधानसभा के चुनाव होने हैं। इसके अलावा राहुल गांधी की यात्रा बिहार, झारखंड जैसे राज्यों से भी नहीं गुजरेगी जबकि कांग्रेस इन राज्यों में सरकार का हिस्सा है। राहुल गांधी की 150 दिन में 3570 किलोमीटर की पदयात्रा 12 राज्यों से होकर गुजरेगी। यात्रा के दौरान राहुल गांधी प्रतिदिन 25 किलोमीटर की दूरी तय करेंगे और बीच बीच में आम सभा के साथ चौपाल जैसे कार्यक्रम को भी संबोधित करेंगे। यानी कांग्रेस ने तीसरी बार राहुल गांधी को लॉन्च कर 2024 में नरेंद्र मोदी से भिड़ाने के लिए तैयार कर रही है।
‘मेक इंडिया नंबर-1’ के जरिये केजरीवाल ने भी ठोकी पीएम पद की ताल
एक तरफ राहुल गांधी भारत जोड़ो अभियान के तहत यात्रा पर निकले हैं। वहीं दूसरी तरफ दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ( Arvind Kejriwal ) भी ‘मेक इंडिया नंबर-1’ अभियान से लोगों को जोड़ने के लिए देशभर का दौरा हरियाणा के हिसार से शुरू कर रहे हैं। अरविंद केजरीवाल ने कहा कि हर एक बच्चे को निशुल्क “फर्स्ट क्लास” शिक्षा मिलने तक देश विकास नहीं कर सकता। उन्होंने कहा कि स्वतंत्रता के तुरंत बाद ही गांवों में अच्छे सरकारी स्कूल बनाए गए होते तो देश गरीब नहीं होता, हमने 75 साल बर्बाद कर दिए। यानी केजरीवाल ने इशारे में कांग्रेस पर निशाना साधा है। इसके अलावा उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से अपील किया कि अगले पांच साल में 10 लाख सरकारी स्कूलों का आधुनिकीकरण करने के लिए सभी राज्यों के साथ मिलकर एक योजना तैयार करें। गौरतलब है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सोमवार को पीएम-श्री योजना के तहत देश भर में 14,500 स्कूल को विकसित और उन्नत बनाए जाने की घोषणा की थी। पीएम की इस घोषणा के बाद केजरीवरल ने कहा, यह काफी अच्छी बात है, लेकिन 14,500 स्कूल समुद्र में एक बूंद की तरह हैं। वे चाहते हैं कि प्रधानमंत्री देश के सभी साढ़े दस लाख सरकारी स्कूलों का आधुनिकीकरण करने का काम करें। बता दें कि पिछले साल से ही आम आदमी पार्टी के नेता यह कह रहे थे कि 2024 में लड़ाई नरेंद्र मोदी बनाम अरविंद केजरीवाल ही होना है। अब केजरीवाल खुलकर सामने आ चुके हैं।
ममता बनर्जी की अंतिम लड़ाई
बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ( Mamata Banerjee ) की ऐलान कर चुकी हैं कि 2024 में बीजेपी को केंद्र की सत्ता से उखाड़ फेंकना उनका लक्ष्य है, और यह उनकी अंतिम लड़ाई होगी। दरअसल, इसके पहले ममता बनर्जी बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की तरह विपक्ष को एकजुट करने की कोशिश कर चुकी थी। लेकिन इसमें असफल होने के बाद वह अब खुद एक प्रधानमंत्री बनने का मंसूबा पाले हुए हैं। ममता बनर्जी की पहली इच्छा केंद्र की राजनीति में कांग्रेस को हटाकर उनकी जगह लेना है। यही वजह है कि वह यह कहने में भी नहीं है कि कि उसे कल की बात थी, आज नया दौर है।
नीतीश के मन में भी दबी है पीएम बनने की इच्छा
बीजेपी का कहना है कि भले ही बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार का यह कहना है कि उनका प्रधानमंत्री बनने का कि न तो कोई इच्छा है न ही उन्होंने इस विषय में कभी सोचा है। वे तो बस 2024 में नरेंद्र मोदी के खिलाफ विपक्ष को एकजुट करने की कवायद में जुटे हैं। लेकिन जिस तरह से जेडीयू के कार्यकर्ताओं ने पटना में बड़े-बड़े होर्डिंग लगाकर नीतीश कुमार को प्रधानमंत्री पद के उम्मीदवार के तौर पर प्रोजेक्ट किया था, क्या यह नीतीश की इच्छा के विरुद्ध था ? तीन दिनों के दिल्ली यात्रा के दौरान नीतीश कुमार ने विपक्ष के कई नेताओं से मुलाकात कर एकजुटता की बात कही है। लेकिन जिस प्रकार नीतीश कुमार विपक्ष के नेताओं से मुलाकात कर रहे हैं। इसे देखकर बीजेपी को लगता है कि प्रधानमंत्री बनने की उनकी दबी इच्छा कभी भी बाहर आ सकती है।
नीतीश के मुहिम के बावजूद बिखरा हुआ दिख रहा विपक्ष
बीजेपी का कहना है कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ( CM Nitish Kumar ) 2014 के लिए विपक्ष को एकजुट करने की कोशिश करने में लगे हैं। लेकिन कांग्रेस ने राहुल गांधी को तीसरी बार लांच करने के लिए भारत जोड़ो यात्रा निकालकर और अरविंद केजरीवाल ने “मेक इंडिया नंबर 1” का नारा देते हुए देश भ्रमण पर निकलने वाले हैं। यानी केजरीवाल भी खुद को 2024 के लिए प्रधानमंत्री के प्रबल दावेदार के तौर पर देश की जनता के सामने पेश करने वाले हैं। उधर, ममता बनर्जी की तृणमूल कांग्रेस ने यह स्पष्ट ऐलान कर दिया है कि 2024 में प्रधानमंत्री पद के लिए ममता बनर्जी से बेहतर चेहरा कोई नहीं हो सकता। ऐसे में यह कहना अतिशयोक्ति नहीं होगा कि नीतीश कुमार कि विपक्ष को एकजुट करने की कोशिश वाली मुहिम फेल हो चुकी है।
बीजेपी के निशाने पर नीतीश, केजरीवाल और ममता
पूर्व उपमुख्यमंत्री और राज्यसभा सांसद सुशील कुमार मोदी ने कहा कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की दिल्ली यात्रा मात्र एक फोटो सेशन है। उन्होंने कहा कि जॉर्ज, शरद यादव, आरसीपी को अपमानित करने वाले नीतीश विपक्ष को नहीं जोड़ पाएंगे। सुशील कुमार मोदी ने कहा कि नीतीश कुमार ने जॉर्ज फर्नांडिस, शरद यादव और आरसीपी सिंह सहित अपनी पार्टी के तीन पूर्व राष्ट्रीय अध्यक्षों को अपमानित कर पार्टी से निकाला, उनके बंगले खाली कराए। ललन सिंह और उपेंद्र कुशवाहा तो माफी मांग कर पार्टी में लौटे।
उन्होंने कहा कि जो अपनी पार्टी के बड़े नेताओं को सम्मान देकर एकजुट नहीं रख सके, वे गुलदस्ता भेंट कर कितने विपक्षी नेताओं को जोड़ पाएंगे। उनका दिल्ली मिशन केवल फोटो सेशन है।
विभाजन की गुनहगार कांग्रेस की भारत जोड़ो यात्रा धोखा
सुशील मोदी ने कहा कि प्रधानमंत्री-पद के उम्मीदवारों की संख्या और सक्रियता अचानक बढ़ गई। उन्होंने कहा कि एक तरफ नीतीश कुमार दिल्ली यात्रा पर हैं, दूसरी ओर राहुल गांधी ने “भारत जोड़ो” यात्रा और अरविंद केजरीवाल ने “मेक इंडिया नंबर वन” यात्रा शुरू की। इन सबकी मंजिल पीएम की कुर्सी होने के कारण ये आपस में मित्र नहीं, प्रतिद्वंद्वी ही हो सकते हैं। उन्होंने कहा कि नीतीश कुमार के मिलने-जुलने से केजरीवाल, ममता बनर्जी और वामदल क्या कांग्रेस के साथ जा सकते हैं? क्या माकपा कभी ममता बनर्जी का साथ दे सकती हैं?
कांग्रेस ने भारत जोड़ो नहीं, परिवार बचाओ यात्रा शुरू की है
सुशील मोदी ने कहा कि जिस कांग्रेस और राहुल गांधी के पुरखों ने धार्मिक नफरत के आधार पर भारत का बंटवारा कराया और जम्मू-कश्मीर पर धारा-370 थोप कर उसे शेष भारत से अलग-थलग बनाये रखा, वे किस मुंह से भारत जोड़ो यात्रा निकाल रहे हैं। उनकी यात्रा दरअसल परिवार बचाओ यात्रा है।
राहुल गांधी की ‘भारत जोड़ो यात्रा’ पर रविशंकर प्रसाद का वार
पूर्व केंद्रीय मंत्री और बीजेपी के दिग्गज नेता रविशंकर प्रसाद ने राहुल गांधी की भारत जोड़ो यात्रा पर कहा कि उन्हें अपनी यात्रा के दौरान देश के लोगों को यह बताना चाहिए कि उन्होंने खुद कितनी बार देश की एकता को कमजोर करने की कोशिश की है। रविशंकर प्रसाद ने यह भी कहा कि उरी और बालाकोट में सेना की शहादत, सेना के शौर्य, सेना के बलिदान पर सवाल उठाने के अलावा सर्जिकल स्ट्राइक पर सबूत मांगकर राहुल गांधी ने देश की एकता को कमजोर करने की कोशिश की थी। राहुल गांधी ने देश की सुरक्षा और सेना के त्याग को भी तोड़ने की कोशिश की, और आज ये देश जोड़ने की बात करते हैं। पूर्व केंद्रीय मंत्री ने कहा कि जो अपने को अपनी पार्टी को भी जोड़ कर नहीं रख सके, वो आज भारत जोड़ने की यात्रा पर निकले हैं, जबकि वे भारत को राष्ट्र तक नहीं मानते।