कांवड़ यात्रा मार्ग 10 जुलाई से पहले गड्ढा मुक्त कर दिया जाएगा। मेरठ नगर निगम कांवड़ मेले की तैयारियों में जुट गया है। बाईपास, दिल्ली रोड और हापुड़ रोड पर हैंडपंप ठीक कराए जाएंगे। जीआईसी और बच्चा पार्क चौराहे पर मोबाइल शौचालय की व्यवस्था होगी।
कांवड़ यात्रा को लेकर मेरठ नगर निगम 10 जुलाई से पहले मार्ग को गड्ढा मुक्त करने की कवायद में जुट गया है। मेट्रो और रैपिड रेल के निर्माण के चलते रुड़की रोड पर कांवड़ सेवा शिविर लगाने और झांकी कांवड़ को शहर में लाने में कई तरह की असुविधाओं की आशंका है। ऐसे में कांवड़ियों को कंकरखेड़ा मार्ग से शहर में लाने पर विचार किया जा रहा है। इसके साथ ही सीईओ ने कैंट क्षेत्र में परंपरागत कांवड़ यात्रा मार्ग पर 10 दिन में पैचवर्क और लाइटिंग कराने के लिए अधिकारियों को आदेश दिया है। सड़कों के निरीक्षण के साथ खर्च का भी एस्टीमेट बनाया जा रहा है
कंकरखेड़ा-सरधना रोड से कांवड़ियों को शहर में लाने की तैयारी
हाईवे पर कांवड़िया 6 जुलाई से दिखने लगेंगे। 15 जुलाई से कांवड़ सेवा शिविर भी लगने आरंभ हो जाएंगे। शहर में परतापुर से टोल प्लाजा तक, रुड़की रोड और हापुड़ रोड सहित शहर में लगभग 280 सेवा शिविर लगाए जाते हैं।
रुड़की रोड पर मेट्रो और रैपिड रेल के निर्माण कार्य के चलते 14 से अधिक स्थानों पर सड़क संकरी हो गई है। इस मार्ग पर परंपरागत 38 सेवा शिविर लगाए जाते हैं। इन स्थानों पर कांवड़ियों के रुकने, भोजन, दवा आदि का सेवा कार्य होता है। इन मार्गों पर सेवा शिविर लगाए जाने के बाद बड़ी झांकी कांवड़ और डाक कांवड़ निकालने की कोई व्यवस्था नहीं है। पूर्व में भी इस मार्ग पर कई झांकी कांवड़ निकालने में घंटों लगते थे।
कैंट बोर्ड अधिकारियों के अनुसार इस बार कांवड़ियों को कंकरखेड़ा-सरधना रोड से शहर में लाने की तैयारी की जा रही है। ऐसे में पूरी माल रोड केसरिया हो जाएगी। इस संबंध में जिलाधिकारी ने भी ट्रैफिक, नगर निगम और छावनी परिषद से रिपोर्ट मांगी है।
सीईओ ज्योति कुमार ने बताया कि कांवड़ यात्रा के दृष्टिगत संबंधित पटल के अधिकारियों को आदेशित किया गया है। छावनी क्षेत्र में आने वाले परंपरागत कांवड़ यात्रा मार्ग पर पैचवर्क की व्यवस्था 10 जुलाई से पूर्व कराने के लिए आदेशित किया गया है। पैचवर्क कहां होना है और इस पर होने वाले अनुमानित खर्च का ब्योरा तैयार किया जा रहा है।
3.5 लाख कांवड़िया बाबा औघड़नाथ मंदिर में करेंगे जलाभिषेक
श्रावण मास की शुरुआत 14 जुलाई से हो रही है। 26 जुलाई को शिवरात्रि का जल चढ़ाया जाएगा। दो वर्ष से कांवड़ यात्रा से वंचित लोग दोगुने उत्साह से कांवड़ लाने की तैयारी कर रहे हैं।
बाबा औघड़नाथ मंदिर समिति के अनुसार इस बार 3.5 लाख कांवड़िया बाबा औघड़नाथ मंदिर में जलाभिषेक करेंगे। नगर निगम कांवड़ मेले की तैयारियों में जुट गया है। इसके लिए निर्माण, पथ प्रकाश और जलकल विभाग के अधिकारियों ने निगम सीमा के अंदर आने वाले कांवड़ मार्ग का निरीक्षण किया है वहीं कांवड़ियों की सुविधा के लिए किए जाने वाले कार्यों का बजट प्रस्ताव भी तैयार किया जा रहा है।
सावन माह में दिल्ली और बुलंदशहर के लाखों कांवड़िये हरिद्वार से जल लेकर मेरठ से गुजरते हैं। शिव भक्तों की सुविधा के लिए नगर निगम मोदीपुरम से परतापुर तक बाईपास और दिल्ली रोड व हापुड़ रोड पर जगह-जगह लगे हैंडपंपों को चालू कराता है, वहीं कई जगह टैंकर से जलापूर्ति की जाती है।
मोबाइल शौचालय और स्ट्रीट लाइट की व्यवस्था भी की जाती है। कांवड़ मार्गों पर 24 घंटे विशेष सफाई होती है। इसके अलावा बेगमपुल से हापुड़ अड्डा चौराहा के बीच राजकीय इंटर कॉलेज के मैदान, बच्चा पार्क और हापुड़ अड्डा चौराहे पर कांवड़ियों के लिए शौचालयों की व्यवस्था की जाती है। इस बार भी यात्रा को और बेहतर करने की तैयारी की जा रही है।
प्लास्टिक के गिलास और पॉलिथीन पर रहेगा प्रतिबंध
नगर निगम के चीफ इंजीनियर यशवंत कुमार ने बताया कि जीआईसी मैदान और बच्चा पार्क पर अस्थायी शौचालय और पेयजल की व्यवस्था की जाएगी। इसके लिए निरीक्षण कर इंजीनियरों को बजट प्रस्ताव बनाने को कहा गया है। अपर नगरायुक्त प्रमोद कुमार ने बताया कि इस बार कांवड़ शिविरों में प्लास्टिक के गिलास और पॉलिथीन आदि पर प्रतिबंध रहेगा।
निगम कार्यकारिणी की बैठक सात जुलाई को
सात जुलाई को टाउन हॉल के तिलक भवन में नगर निगम कार्यकारिणी की बैठक होगी। इसके लिए महापौर सुनीता वर्मा ने नगरायुक्त को पत्र जारी कर दिया है। काफी समय बाद नगर निगम कार्यकारिणी की बैठक बुलाई गई है, जिसमें शहर के विकास पर चर्चा होगी।