विकास निधि के अभाव में पूरे प्रदेश में काम ठप पड़ गए हैं। 68 विधानसभा क्षेत्र में विकास निधि जारी करने के लिए सुक्खू सरकार को 34 करोड़ की जरूरत है।
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सुक्खू सरकार ने शिमला जिले के विधायकों की क्षेत्र विकास निधि पर रोक लगा दी है। नवनिर्वाचित विधायक अपने विधानसभा क्षेत्र में एक भी पैसे का काम नहीं करवा पा रहे हैं। प्रदेश में सत्ता परिवर्तन के बाद विधायक क्षेत्र विकास निधि अभी तक नहीं मिल पाई है। क्षेत्र में काम करने के लिए हर साल दो करोड़ रुपये प्रति विधायक देने का प्रावधान है। साल में हर तीन महीने में 50 लाख की किस्त जारी होती है।
चालू वित्त वर्ष में तीन किस्तें राज्य सरकार की ओर से जारी कर दी गईं लेकिन चौथी किस्त जनवरी के पहले सप्ताह में देय थी। फरवरी शुरू हो चुका है लेकिन अभी तक विकास निधि का कोई अता-पता नहीं है। विधायक इस पैसे से अपने विधानसभा क्षेत्र में सड़क, सामुदायिक भवन , डंगे सहित कई तरह के विकासात्मक काम करवाने में सक्षम रहते हैं और लोगों की समस्याओं को मौके पर ही निपटाने में सक्षम रहते हैं। लेकिन मौजूदा समय में विकास निधि के अभाव में पूरे प्रदेश में काम ठप पड़ गए हैं।
आम जनता ने जिस भरोसे के साथ अपने विधानसभा क्षेत्र से विधायक को चुनकर विधानसभा भेजा है, वह पैसे के अभाव में इलाके में तत्काल प्रभाव से जनहित के कार्य करने में अक्षम हो गए हैं। वहीं 68 विधानसभा क्षेत्र में विकास निधि जारी करने के लिए सुक्खू सरकार को 34 करोड़ की जरूरत है। बजट का प्रावधान न होने की वजह से अब तक पैसा जारी नहीं हो पाया है।
खजाना खाली कर गई है जयराम सरकार
जयराम सरकार खजाना खाली करके गई है। नई सरकार बने अभी चंद दिन ही हुए हैं। इस वजह से विधायक क्षेत्र विकास निधि जारी नहीं हो पाई है। वित्तीय प्रबंधन किया जा रहा है। विधायक क्षेत्र विकास निधि को जल्द जारी कर दिया जाएगा।