*डबल ईंजन की सरकार ने प्रदेशवासियों को दिया टेंशन मुक्त और बोझ मुक्त वातावरण: अनुराग ठाकुर*
*केंद्रीय मंत्री ने भोरंज में डॉ अनिल धीमान के चुनाव प्रचार अभियान में आधा दर्जन स्थानों पर जनता को गिनाई उपलब्धियां और माँगा रिकार्ड जनसमर्थन*
*केंद्रीय मंत्री के संग डॉ अनिल धीमान के प्रचार के लिए कमलेश कुमारी भी रही मौजूद*
भोरंज 27 अक्टूबर 2022
वीरवार को भोरंज विस क्षेत्र के चंबोह जोह बधाणी मुंडखर में चुनावी सभाओं को सम्बोधित करते हुए केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर ने कहा कि प्रदेश में विकास का पहिया लगातार चलता रहे इसलिए भाजपा की सरकार प्रदेश में फिर से बनाना बहुत जरूरी है। क्योंकि पिछले 5 वर्षों में डबल इंजन की सरकार ने प्रदेश में जन-जन को लाभ पहुंचाने के लिए काम किया है। हिमाचल प्रदेश की डबल इंजन की सरकार की कामों की चर्चा आज पूरे देश में होती है। इन 5 वर्षों में टेंशन मुक्त एवं बोझ मुक्त वातावरण प्रदेश वासियों के लिए डबल इंजन की सरकार ने बना कर दिया है। 60 वर्ष से अधिक आयु के लोगों को पेंशन लगाई, 125 यूनिट तक बिजली का बिल मुफ्त कर दिया, पानी का बिल मुफ्त कर दिया, कोविड के अनाज मुफ्त में दिया गया, देश भर में 200 करोड़ वैक्सीन मुफ्त में लगाई गयी, हर घर को नल दिया, ऐसी ही कई विकास योजनाएं और प्रोजेक्ट केंद्र सरकार से प्रधानमंत्री मोदी ने हिमाचल को दीं तो भोरंज में कमलेश कुमारी ने जयराम सरकार से योजनाएं लाई। भोरंज में मिनी सचिवालय, 100 बिस्तर का अस्पताल और लग्वालती बमसन पेयजल योजना के संवर्धन करने का काम हुआ है, सेंट्रल यूनिवर्सिटी, हाइड्रो इंजीनियरिंग कॉलेज, ट्रिपल आईटी कॉलेज मिला है। यही नही भानुपली रेल लाइन का काम चल रहा है नङ्गल से दौलतपुर चोक ट्रेन चलना शुरू हो गयी, देश की चौथी वन्दे भारत ट्रेन ऊना से चला दी। जो आज तक नही हो पाया वो सुविधाएं यहां की जनता को उपलब्ध करवाई हैं।
केंद्रीय मंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आत्मनिर्भर भारत का सपना देखा और उसे हकीकत में बदलने के लिए बहुत सारा काम भी किया गया इन 5 वर्षों में देश निर्यात के क्षेत्र में तीस हज़ार करोड़ तक पहुंच गया, 5 साल पहले हम मोबाइल के विश्व भर में दूसरे सबसे बड़े आयात करने वाले देश थे और आज विश्व का दूसरे सबसे बड़ा मोबाइल फोन निर्माता देश भारत बना है। प्रधानमंत्री मोदी ने प्रदेश का विशेष श्रेणी राज्य का दर्जा जो कांग्रेस की सरकार ने छीन लिया था उसको वापस किया ताकि प्रदेश को किसी भी विकास परियोजना के लिए अपनी तरफ से सिर्फ और सिर्फ 10% ही योगदान देना पड़े बाकी का 90% खर्च केंद्र सरकार द्वारा वहन किया जाएगा।