: विधायक विद्यालय के द्वार कार्यक्रम के तहत विधानसभा क्षेत्र चुराह के विभिन्न स्कूलों में बच्चों के साथ सीधा संवाद किया जा रहा है। इसके माध्यम से विद्यालय में शिक्षा व्यवस्था को जांचा जा रहा है। इसी कड़ी में शुक्रवार को क्षेत्र के स्कूलों में पहुंचकर बच्चों से संवाद किया गया। सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे वीडियो मामले में विधानसभा उपाध्यक्ष डॉ. हंसराज ने यह बात कही। उन्होंने कहा कि वह पहले भी कक्षाओं में जाते रहे हैं और विद्यार्थियों से संवाद करते रहे हैं। वीडियो में कुछ और था लेकिन दिखाया कुछ और जा रहा है। मेरी ऐसी कोई इंटैंशन (इरादा) नहीं रही। क्षेत्र के कई स्कूलों में शिक्षक नहीं हैं। नियुक्तियां करने के बाद भी कई ज्वाइन नहीं कर रहे हैं, जिसके चलते अपने स्तर पर पढ़े-लिखे युवाओं को अस्थायी तौर पर भर्ती किया जा रहा है। वह अपने वेतन से 25 प्रतिशत इन शिक्षकों को देंगे ताकि शिक्षा में किसी भी व्यवस्था में कोई बाधा न आए और बच्चों की शिक्षा के स्तर में सुधार सुनिश्चित हो सके।
यह है वायरल वीडियो में
गौर रहे कि सोशल मीडिया पर एक वीडियो वायरल हो रहा है, जिसमें विधानसभा उपाध्यक्ष एक बच्चे को कह रहे हैं, हंस क्यों रहा है। जिसको पूछा जा रहा, वही जवाब दे। यहां कोई मदारी का खेल चला हुआ है। इसके बाद वीडियो में कह रहे हैं कि मोबाइल किस-किस के पास है। मैंने बैग भी चैक करने हैं। एक छात्रा को भी कहा कि क्यों हंस रही है। इसके अलावा वीडियो में विधानसभा उपाध्यक्ष को बच्चों के साथ और बातें करते हुए भी दिखाया गया है। यह वीडियो सोशल मीडिया पर खूब वायरल हो रहा है और लोग तरह-तरह की प्रतिक्रिया दे रहे हैं।
बच्चों के साथ ऐसा व्यवहार निंदनीय, सरकार ले संज्ञान : सुरेंद्र
चुराह के पूर्व विधायक सुरेंद्र भारद्वाज ने कहा कि विधानसभा उपाध्यक्ष हंसराज को जनता ने अब नकार दिया है, जिसके चलते उनका मानसिक संतुलन बिगड़ गया है। अब अपनी भड़ास निकालने के लिए ऐसा व्यवहार कर रहे हैं। अपनी फील्ड को भूलकर स्कूल में पहुंच कर बच्चों के साथ इस तरह का व्यवहार करना ङ्क्षनदनीय है। सीएम जयराम ठाकुर को इस पर कड़ा संज्ञान लेना चाहिए। जिस तरह एक शिक्षक को ऐसे व्यवहार पर निलंबित किया जा सकता है, उसी तरह विधानसभा उपाध्यक्ष को भी पद से बर्खास्त किया जाए। सुरेंद्र भारद्वाज ने कहा कि उनका कक्षा में जाना ही ठीक नहीं था। अगर कोई कार्य है तो शिक्षकों के साथ बात करते लेकिन वह आदत से मजबूर हैं। आगामी चुनावों में जनता इसका जरूर जवाब देगी।
शिक्षक होता तो तुरंत सस्पैंड कर दिया जाता : सलीम
आम आदमी पार्टी केंद्रीय विकास संगठन कमेटी सदस्य एवं पूर्व प्रदेश प्रवक्ता सलीम मुहम्मद ने कहा कि प्रदेश सरकार को साढ़े 4 साल बाद शिक्षा व्यवस्था में सुधार की याद आई। इससे पहले सरकार सोई हुई थी। अब चुनाव नजदीक आते ही विधायकों को स्कूलों में भेजकर गुणात्मक शिक्षा उपलब्ध करवाने की बातें कही जा रही हैं। चुराह के एक स्कूल में विद्यार्थी के साथ जिस तरह का व्यवहार किया गया, वह बेहद शर्मनाक है। अगर कोई शिक्षक ऐसा करता तो उसे तुरंत सस्पैंड कर दिया जाता। सरकार को इस पर कड़ा संज्ञान लेना चाहिए।