इन बीमा कंपनियों के कर्मचारियों को मिला दीवाली का तोहफा, सरकार ने वेतन में की 12 फीसदी की बढ़ोतरी

सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों और बीमा कंपनियों का वेतन संशोधन हर पांच साल में किया जाता है.

सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों और बीमा कंपनियों का वेतन संशोधन हर पांच साल में किया जाता है.

नई दिल्ली. केंद्र सरकार ने सार्वजनिक क्षेत्र की चार सामान्य बीमा कंपनियों (जनरल इंश्योरेंस कंपनियों) के कर्मचारियों को दीवाली का तोहफा देते हुए उनके वेतन में औसतन 12 फीसदी की बढ़ोतरी की है. इस मामले में वित्त मंत्रालय ने 15 अक्टूबर को अधिसूचना जारी की थी. यह वेतन वृद्धि अगस्त 2017 से प्रभावी मानी जाएगी.

इस योजना को सामान्य बीमा (वेतनमानों का युक्तिकरण और अधिकारियों की सेवा की अन्य शर्तें) संशोधन योजना, 2022 कहा जा रहा है. अधिसूचना में कहा गया है कि इस संशोधन के तहत कंपनी और कर्मचारी के प्रदर्शन के आधार पर वेतन में परिवर्तन किया जा सकेगा.

कौनसी कंपनियां शामिल हैं इसमें?
केंद्र सरकार ने न्यू इंडिया एश्योरेंस, नेशनल इंश्योरेंस, ओरिएंटल इंश्योरेंस और यूनाइटेड इंडिया इंश्योरेंस के कर्मचारियों के वेतन में पांच साल के बकाया के साथ 12 प्रतिशत की बढ़ोतरी की घोषणा की है. समाचार एजेंसी पीटीआई के सूत्रों का कहना है कि इससे इन कंपनियों के वेतन बिल में लगभग 8,000 करोड़ की वृद्धि होगी.

कर्मचारियों को मिलेगा 5 साल का एरियर
यह वेतन संशोधन 1 अगस्त 2017 से प्रभावी है. इस दौरान इन कंपनियों में काम करने वालों को पांच साल का एरियर मिलेगा. वहीं, इस संशोधन से उन कर्मचारियों को भी लाभ मिलेगा जो उस समय सेवा में थे और अब रिटायर हो चुके हैं.

कर्मचारी यूनियन संशोधन से खुश नहीं
इस संशोधन से हुई वेतन वृद्धि को लागू करने से कर्मचारियों की यूनियन खुश नहीं है. जनरल इंश्योरेंस एम्प्लॉइज ऑल इंडिया एसोसिएशन (जीआईईएआईए) के महासचिव त्रिलोक सिंह का कहना है, “जिस तरह से 64 महीने के इंतजार के बाद वेतन संशोधन किया गया है, उसके खिलाफ हमारा कड़ा विरोध है. वेतन को कर्मचारी के प्रदर्शन से जोड़ना बिलकुल अतार्किक है.”

हर पांच साल में होता है संशोधन
सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों और बीमा कंपनियों के वेतन संशोधन हर पांच साल में किए जाते हैं. 14 अक्टूबर 2022 को जारी एक राजपत्रित अधिसूचना में कहा गया है कि बीमा कंपनियों के कर्मचारियों के वेतन में अगला संशोधन अगस्त 2022 से होने वाला है. केंद्र सरकार ने 2021 में सामान्य बीमा संशोधन अधिनियम को अधिसूचित किया था. यह अधिनियम सरकार को राज्य के स्वामित्व वाली सामान्य बीमा कंपनियों में अपनी हिस्सेदारी 51 प्रतिशत से कम करने की अनुमति देगा