सरकार पिछले 5 वर्ष से फोरलेन पीड़ितो के साथ खिलवाड़ कर रही

पठानकोट मंडी फोरलेन पीड़ितों ने सरकार की ओर से आ रही समस्याओं से अवगत करवाने हेतु माननीय महामहिम राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू को एक ज्ञापन नूरपुर तहसीलदार के माध्यम से हिमाचल भू अधिग्रहण प्रभावित मंच एवम हिमाचल मानव अधिकार लोक बॉडी प्रदेश अध्यक्ष राजेश पठानिया की अध्यक्षता में सौंपा।

राजेश पठानिया ने बताया के सरकार पिछले 5 वर्ष से फोरलेन पीड़ितो के साथ खिलवाड़ कर रही है! एक और जहां सरकार ने जनता की जमीन को कौड़ियों के भाव खरीद कर जनता को सड़कों पर आने के लिए मजबूर कर दिया! वही उनकी जमीनों पर बने भवनों के मूल्यों में भारी कटौती कर फोरलेन प्रभावितों के जख्मों पर नमक छिड़कने का कार्य कर रही है! उन्होंने बताया पठानकोट मंडी को अपने अवार्ड में लिंक रोड कई गांव को दर्शाया गया है और भाजपा अपने घोषणा पत्र में किए वादे से भी मुकर गई है! जिसका खामियाजा हिमाचल की भोली-भाली जनता अपने जमीने व घर बार खोकर भुगत रही है!एक ही जमीनों के 33 अवार्ड करके सरकार ने उन्हें ठगने का प्रयास किया है!

जनता की कोई भी सुनवाई कहीं भी नहीं हो रही हैं!हजारों लोगों को न्याय मांगने के लिए सरकार अदालतों की ओर रुख करने को मजबूर कर रही है! सरकार के इस भेदभाव से तंग आकर फोरलेन प्रभावित आने वाले विधानसभा चुनावों में भाजपा सरकार को आईना जरूर दिखाएंगे! इस मौके पर फोरलेन पीड़ितों को आम आदमी पार्टी का भरपूर साथ मिला! जिसमें संगठन मंत्री राजेश पठानिया के अलावा प्रदेश प्रवक्ता आम आदमी पार्टी मनीषा, मंगल ठाकुर, तिलक राज, महेंद्र चौधरी, कमलेश देवी, विक्रम, राज सिंह और दर्जनों फोरलेन प्रभावित मौजूद रहे!

आप की प्रदेश प्रवक्ता मनीषा ने बताया की फोरलेन प्रभावितों के साथ आज अन्याय किया जा रहा है। वर्ष 2013 में कांग्रेस द्वारा एक्ट लाया गया था जिसके तहत प्रभावितों को एक्स टू फैक्टर के तहत मुआवजा मिलना था लेकिन ऐसा कुछ भी नही हुआ। उन्होंने कहा कि कांग्रेस और भाजपा दोनों सरकारें इस मुद्दे पर लोगों को गुमराह करती आई है और महज वोट बैंक की राजनीति तक सिमट कर रह गई है। मनीषा ने कहा कि आज दस हजार लोग प्रभावित हों रहे हैं जिन्हे एक्स वन फैक्टर के तहत मुआवजा दिया गया है जो सरासर नाइंसाफी है। उन्होंने कहा कि आज एसडीएम के माध्यम से राष्ट्रपति को ज्ञापन प्रेषित किया गया है जिसमे प्रभावित लोगों को एक्स टू फैक्टर के तहत मुआवजा देने की मांग की गई है।