The only son martyred for the country, a wave of grief in Himachal

इकलौता बेटा देश के लिए हुआ शहीद, हिमाचल में शोक की लहर 

हिमाचल प्रदेश के  के राजगढ़  की बोहल टालिया पंचायत के धार पंजहेरा गांव का  23 वर्षीय अंचित कुमार  ने देश के लिए अपने  प्राणों की आहूति दे दी है. अरुणाचल प्रदेश  में एलएसी पर 21 डोगरा के जवान एक पोस्ट से दूसरी पर जा रहे थे. इसी दौरान ऑपरेशन में अंचित कुमार शहीद हो गया. मंगलवार शाम 6 बजे के करीब यह दिल दहला देने वाले घटना घटी |  परिवार को बीती रात ही बेटे की शहादत की जानकारी दे दी गई थी. घर पर माता-पिता के अलावा दादा कृष्ण दत्त शर्मा व दादी शारदा देवी की आंखें नम हैं तो पोते की शहादत पर गर्व भी महसूस कर रहे हैं|

पिता राजेश व मां सुनीता के साथ-साथ दादा-दादी से 24 अक्तूबर को वापस डयूटी पर लौटते वक्त जल्द घर आने का वादा कर गया था. छोटी बहन नीतिका को भाई की शहादत की सूचना मिलने के बाद गहरा झटका लगा है. माता-पिता का अंचित इकलौता बेटा था। दूसरी संतान के रूप में बेटी है. हंसमुख व मिलनसार स्वभाव के अंचित की अचानक ही शहादत की खबर सुनकर हर कोई स्तब्ध है। साथ ही इलाके में शोक की लहर है. अंचित कुमार के ताया सुदेश शर्मा ने फोन पर बताया कि अचानक ही मिली जानकारी के बाद घर पर माहौल गमगीन है। उन्होंने कहा कि परिवार को बीती रात ही जानकारी मिल गई थी। सुबह उनकी भी सैन्य अधिकारी से फोन पर बात हुई.