US China Tension: बड़ी गलती होगी… प्रतिबंधों के खिलाफ रूस की मदद करने पर जो बाइडेन ने चीन को दी सीधी चेतावनी

जो बाइडेन ने कहा कि मैंने शी जिनपिंग से कहा: अगर आपको लगता है कि रूस पर लगाए गए प्रतिबंधों के उल्लंघन के आधार पर अमेरिकी और अन्य लोग चीन में निवेश करना जारी रखेंगे, तो मुझे लगता है कि आप एक बड़ी गलती कर रहे हैं। लेकिन यह आपका निर्णय है। बाइडेन कहा कि यह बयान चीनी राष्ट्रपति को धमकी देने के लिए नहीं बल्कि पश्चिमी प्रतिबंधों की अनदेखी के परिणामों के बारे में चेतावनी देने के लिए था।

Biden Climate COP26 Summit.
अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन

वॉशिंगटन: अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन ने रूस की सहायता करने पर चीन को चेतावनी दी है। उन्होंने चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग से कहा कि यूक्रेन पर आक्रमण के बाद रूस के खिलाफ प्रतिबंधों का उल्लंघन करना एक बड़ी गलती होगी। बाइडेन ने कहा कि मैंने शीतकालीन ओलंपिक में व्लादिमीर पुतिन से मुलाकात के तुरंत बार शी जिनपिंग से बात की थी। इस यात्रा के दौरान शी जिनपिंग और व्लादिमीर पुतिन ने चीन और रूस के बीच व्यापार को और ज्यादा बढ़ाने पर जोर दिया था। इसके तुरंत बाद रूस ने यूक्रेन पर हमला कर दिया था। इससे पहले भी आरोप लगे थे कि चीन अपने दोस्त रूस को अमेरिकी प्रतिबंधों से बचाने के लिए आर्थिक तौर पर मदद कर रहा है। इतना ही नहीं, दावा यह भी किया था कि रूसी सेना चीनी हथियारों का इस्तेमाल यूक्रेन के खिलाफ कर रही है, लेकिन अमेरिका ने इस दावे को खारिज कर दिया था।
बाइडेन बोले- यह चीन की बड़ी गलती होगी
रविवार को सीबीएस को दिए इंटरव्यू में जो बाइडेन ने कहा कि मैंने शी जिनपिंग से कहा: अगर आपको लगता है कि रूस पर लगाए गए प्रतिबंधों के उल्लंघन के आधार पर अमेरिकी और अन्य लोग चीन में निवेश करना जारी रखेंगे, तो मुझे लगता है कि आप एक बड़ी गलती कर रहे हैं। लेकिन यह आपका निर्णय है। बाइडेन कहा कि यह बयान चीनी राष्ट्रपति को धमकी देने के लिए नहीं बल्कि पश्चिमी प्रतिबंधों की अनदेखी के परिणामों के बारे में चेतावनी देने के लिए था। बाइडेन ने चीन के बारे में कहा कि अभी तक, इस बात का कोई संकेत नहीं है कि उन्होंने रूस को हथियार या अन्य चीजें दी हैं। विश्लेषकों का कहना है कि पश्चिम के साथ व्यापार पर चीन की गहरी निर्भरता का मतलब है कि बीजिंग ऐसा कुछ भी नहीं करना चाहेगा जिससे उसकी अर्थव्यवस्था को खतरा हो।

यूक्रेन पर आक्रमण को लेकर रूस के खिलाफ प्रतिबंधों की बौछार
रूस ने 24 फरवरी को यूक्रेन में स्पेशल मिलिट्री ऑपरेशन का ऐलान किया था। इसी की बाद अमेरिका समेत पश्चिमी देशों ने रूस के खिलाफ प्रतिबंधों की बौछार कर दी थी। इसी से बचने के लिए रूस ने अपने दोस्त चीन की सहायता ली। चीन को भी रूस की इस निर्भरता से काफी फायदा हुआ है। चीन ने खुद को रूसी सामानों के वैकल्पिक बाजार के रूप में पेश किया और खुद को सस्ते रूसी ईंधन के एक प्रमुख ग्राहक के रूप में स्थापित कर लिया है।

पुतिन ने पिछले हफ्ते ही अमेरिका की आलोचना की थी
पुतिन ने पिछले हफ्ते एक ध्रुवीय दुनिया बनाने के लिए अमेरिका समेत पश्चिमी देशों की आलोचना की थी। उन्होंने यूक्रेन संकट के समय चीनी मित्रों की संतुलित स्थिति के लिए काफी तारीफ भी की थी। फरवरी में मुलाकात के समय शी ने पुतिन से वादा किया था कि रूस और चीन के संबंध सभी सीमाओं के परे होंगे। लेकिन पिछले हफ्ते उज्बेकिस्तान में शंघाई सहयोग संगठन के शिखर सम्मेलन में, पुतिन ने स्वीकार किया कि चीन ने यूक्रेन में रूस के विशेष सैन्य अभियान को लेकर “प्रश्न और चिंता” व्यक्त की थी।