भारतीय मूल की भौतिक विज्ञानी आरती प्रभाकर (Arati Prabhakar) को इस सप्ताह अमेरिका के राष्ट्रपति जो बाइडन अपने वैज्ञानिक सलाहकार के रूप में नामित करने जा रहे हैं. आरती प्रभाकर को व्हाइट हाउस ऑफिस ऑफ साइंस एंड टेक्नोलॉजी (OSTP) के निदेशक के रूप में नामित किए जाने की उम्मीद है. आरती प्रभाकर एरिक लैंडर का स्थान लेंगी. लैंडर ने 7 फरवरी, 2022 को राष्ट्रपति के विज्ञान सलाहकार के रूप में इस्तीफा दे दिया था.
आरती प्रभाकर को OSTP निदेशक बनने के लिए सीनेट की मंजूरी की जरूरत होगी. इस प्रक्रिया में महीनों लग सकते हैं. हालांकि, वह तुरंत राष्ट्रपति के विज्ञान सलाहकार का पद ले सकती हैं. विज्ञान सलाहकार के रूप में उनकी जिम्मेदारियों में समस्याग्रस्त विज्ञान नीति के मुद्दों को संबोधित करना शामिल है, जैसे कि चीन के साथ प्रतिस्पर्धा करने के लिए अमेरिका को कैसे सर्वोत्तम स्थिति में लाना है.
सहारनपुर के गुप्ता ब्रदर्स कैसे बन गए साउथ अफ्रीका के रसूखदार, फिर शुरू हुई बर्बादी
कौन हैं आरती प्रभाकर?
आरती प्रभाकर ( 34) जानी-मानी भौतिक विज्ञानी हैं. उन्हें 1993 में तत्कालीन राष्ट्रपति बिल क्लिंटन ने राष्ट्रीय मानक और प्रौद्योगिकी संस्थान (एनआईएसटी) का नेतृत्व करने के लिए चुना था. NIST का नेतृत्व करने के लिए नामित होने के दो दशक बाद पूर्व राष्ट्रपति बराक ओबामा ने प्रभाकर को डिफेंस एडवांस्ड रिसर्च प्रोजेक्ट्स एजेंसी (DARPA) का नेतृत्व करने के लिए चुना.
अब अगर सीनेट ओएसटीपी के निदेशक के रूप में प्रभाकर की नियुक्ति को मंजूरी देती है, तो वह ओएसटीपी का नेतृत्व करने वाली पहली महिला और अश्वेत व्यक्ति बन जाएंगी.
नई दिल्ली में हुआ जन्म, टेक्सास में पढ़ाई
आरती प्रभाकर का जन्म भारत की राजधानी नई दिल्ली में 2 फरवरी 1959 में हुआ था. उनका बचपन और शुरुआती पढ़ाई टेक्सास में हुई. 1984 में कैलिफोर्निया इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी से पीएचडी करने के बाद वह संघीय सरकार के लिए काम करने चली गईं.
US के स्टैनफोर्ड में क्लाइमेट चेंज डिपार्टमेंट के डीन बने अरुण मजुमदार
Actuate की संस्थापक
उन्होंने 30 जुलाई 2012 से 20 जनवरी 2017 तक यूनाइटेड स्टेट्स डिफेंस एडवांस्ड रिसर्च प्रोजेक्ट्स एजेंसी (DARPA)की प्रमुख की जिम्मेदारी संभाली. प्रभाकर एक गैर-लाभकारी संगठन Actuate की संस्थापक और सीईओ हैं. उन्होंने 1993 से 1997 तक राष्ट्रीय मानक और प्रौद्योगिकी संस्थान (NIST) का नेतृत्व किया और NIS की प्रमुख बनने वाली पहली महिला रहीं.
विज्ञान सलाहकार से क्या करने की अपेक्षा की जाती है?
विज्ञान सलाहकार का मुख्य काम विज्ञान के लिए अमेरिकी राष्ट्रपति के एजेंडे को पूरा करने में मदद करना है. बाइडन ने 15 जनवरी 2021 को लिखे एक लेटर में विज्ञान के लिए अपने एजेंडे का जिक्र किया था.
लेटर में पांच सूत्रीय योजना का वर्णन किया गया है, जिसमें बाइडन ने लैंडर को सार्वजनिक स्वास्थ्य में सुधार के लिए महामारी से सबक लेने, जलवायु परिवर्तन से निपटने के लिए अनुसंधान को सूचीबद्ध करने के लिए कहा. साथ ही यह सुनिश्चित करने के लिए कहा गया कि देश कृत्रिम बुद्धिमत्ता जैसे उभरते उच्च तकनीक वाले क्षेत्रों में वैश्विक नेता बना रहे. इसके साथ ही बाइडन क्वांटम सूचना विज्ञान, अनुसंधान समुदाय के भीतर असमानता को कम करना चाहते हैं.
प्रभाकर के DARPA के अंतरंग ज्ञान से बाइडन प्रशासन को स्वास्थ्य के लिए नई उन्नत अनुसंधान परियोजना एजेंसी (ARPA-H) और राष्ट्रीय विज्ञान फाउंडेशन (NSF) में नए प्रौद्योगिकी निदेशालय को आगे बढ़ाने में मदद मिलेगी.